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उड़ीसावंचितों ने बनाया देवी मंदिरउड़ीसा के चौरीबेरहामपुर गांव के वंचितों ने तथाकथित ऊंची जाति वालों की मनमानी से मुक्ति पाने के लिए स्वयं का एक देवी मन्दिर बनाया है। इस गांव में वर्षों से वंचित वर्ग के लोगों को गांव में बने एक ही मंदिर में जाने पर प्रतिबंध था। आखिरकार वंचितों ने इसका विरोध करते हुए स्वयं अपने लिए एक मंदिर का निर्माण कर लिया। नवनिर्मित मंदिर में पूजा आराधना विधिपूर्वक हो, इसके लिए उन्होंने मंदिर में एक ब्राह्मण पुजारी भी नियुक्त कर दिया।उड़ीसा के केन्द्रपाड़ा शहर के नजदीक चौरीबेरहामपुर गांव में विभिन्न जाति-पंथ के करीब 1,400 परिवार रहते हैं। यहां के लगभग 900 हादी जाति के परिवार उच्च जातियों के रवैये के कारण एक खुली जगह में देवी मां मंगला की पूजा करते आ रहे थे। वंचित वर्ग के नेता श्री अभिमन्यु नाइक ने बताया कि समुदाय के लोगों ने खुले स्थान पर माता की पूजा करने की बजाय वहीं एक मंदिर बनाने का फैसला लिया। उल्लेखनीय है कि यह मंदिर करीब 3 लाख रुपए की लागत से पिछले माह बनकर तैयार हुआ, जिसके लिए धन वंचित वर्ग के लोगों ने दान के रूप में दिया। 30 फीट ऊंचे इस मंदिर के लिए लोगों ने श्रमदान किया। श्री नाइक ने बताया कि हादी जाति के ज्यादातर लोग सड़क, शौचालय साफ करने जैसे कार्य ही करते हैं। वंचित वर्ग के मंदिर में धार्मिक अनुष्ठान समुचित रीति से सम्पन्न कराने के लिए उन्होंने संस्कृत विद्वान श्री कृपासिंधु पात्री को मंदिर का पुजारी भी नियुक्त कर दिया है। -प्रतिनिधि15
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