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युवा महोत्सव मेंनिज संस्कृति और धर्म की गूंजदीपक बरठाकुरगत दिनों अरुणाचल प्रदेश के हपोली (जीरो) नामक स्थान पर “इंडीजिनस फेथ एण्ड कल्चरल सोसायटी” द्वारा तीन दिवसीय युवा महोत्सव सम्पन्न हुआ। मुम्बई से आए प्रख्यात सामाजिक कार्यकर्ता बाबा सत्यनारायण मौर्य ने स्वदेशी पर प्रस्तुति के दौरान महोत्सव में भाग ले रहे लगभग 1200 युवकों का आह्वान किया कि वे अपनी मूल संस्कृति व परम्पराओं को सहेज कर रखें। अपनी अनुपम शैली में बाबा मौर्य ने श्रोताओं के साथ जीवंत संवाद स्थापित किया। उन्होंने उपस्थित श्रोताओं से कहा “यदि अरुणाचली समाज अपनी संस्कृति का संरक्षण नहीं करेगा तो फिर यह काम कौन करेगा? क्या हम इस काम को बहुराष्ट्रीय कम्पनियों अथवा चर्च के हवाले कर दें, जिन्होंने संगठित रूप से षड्यंत्रपूर्वक हमारी संस्कृति के विनाश हेतु कमर कस रखी है?”महोत्सव में प्रतिभागियों के बीच परम्परागत पहनावे, नृत्य संगीत और खेल प्रतियोगिता का आयोजन भी किया गया। साथ ही अरुणाचल प्रदेश की “जनजातीय संस्कृति पर मंडराते खतरे” विषयक संगोष्ठी में मतांतरण, आतंकवाद, पश्चिमीकरण, परम्परागत सामाजिक मूल्यों के क्षरण और बढ़ते भ्रष्टाचार पर चिंता भी व्यक्त की गई। महोत्सव के समापन सत्र में लोअर सुबनसीरी के उपायुक्त श्री कलिंग मुख्य अतिथि के रूप में सम्मिलित हुए। उन्होंने अपने उद्बोधन में परम्परागत संस्कृति के आधार पर अरुणाचल प्रदेश के पुनर्निर्माण पर बल दिया।दीपक बरठाकुरNEWS
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