श्रद्धाञ्जलि
July 16, 2025
  • Read Ecopy
  • Circulation
  • Advertise
  • Careers
  • About Us
  • Contact Us
android app
Panchjanya
  • ‌
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • वेब स्टोरी
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • अधिक ⋮
    • जीवनशैली
    • विश्लेषण
    • लव जिहाद
    • खेल
    • मनोरंजन
    • यात्रा
    • स्वास्थ्य
    • धर्म-संस्कृति
    • पर्यावरण
    • बिजनेस
    • साक्षात्कार
    • शिक्षा
    • रक्षा
    • ऑटो
    • पुस्तकें
    • सोशल मीडिया
    • विज्ञान और तकनीक
    • मत अभिमत
    • श्रद्धांजलि
    • संविधान
    • आजादी का अमृत महोत्सव
    • मानस के मोती
    • लोकसभा चुनाव
    • वोकल फॉर लोकल
    • जनजातीय नायक
    • बोली में बुलेटिन
    • पॉडकास्ट
    • पत्रिका
    • ओलंपिक गेम्स 2024
    • हमारे लेखक
SUBSCRIBE
  • ‌
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • वेब स्टोरी
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • अधिक ⋮
    • जीवनशैली
    • विश्लेषण
    • लव जिहाद
    • खेल
    • मनोरंजन
    • यात्रा
    • स्वास्थ्य
    • धर्म-संस्कृति
    • पर्यावरण
    • बिजनेस
    • साक्षात्कार
    • शिक्षा
    • रक्षा
    • ऑटो
    • पुस्तकें
    • सोशल मीडिया
    • विज्ञान और तकनीक
    • मत अभिमत
    • श्रद्धांजलि
    • संविधान
    • आजादी का अमृत महोत्सव
    • मानस के मोती
    • लोकसभा चुनाव
    • वोकल फॉर लोकल
    • जनजातीय नायक
    • बोली में बुलेटिन
    • पॉडकास्ट
    • पत्रिका
    • ओलंपिक गेम्स 2024
    • हमारे लेखक
Panchjanya
panchjanya android mobile app
  • होम
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • वेब स्टोरी
  • जीवनशैली
  • विश्लेषण
  • मत अभिमत
  • रक्षा
  • धर्म-संस्कृति
  • पत्रिका
होम Archive

श्रद्धाञ्जलि

by
Feb 1, 2005, 12:00 am IST
in Archive
FacebookTwitterWhatsAppTelegramEmail

दिंनाक: 01 Feb 2005 00:00:00

स्व. नरसिंह राव को रा.स्व.संघ के सरसंघचालक श्री कुप्.सी.सुदर्शन की श्रद्धाञ्जलिकुशल नेता, विद्वान व्यक्तित्वरा.स्व.संघ के पूज्य सरसंघचालक श्री कुप्.सी. सुदर्शन ने स्व.नरसिंह राव के प्रति श्रद्धाञ्जलि स्वरूप जो वक्तव्य जारी किया, उसका अविकल पाठ यहां प्रस्तुत है।-सं.लगभग 40 वर्ष तक भारत की राजनीति में निष्ठावान कांग्रेसी के रूप में सक्रिय श्री पी.वी. नरसिंह राव नहीं रहे। बहुभाषा कोविद श्री राव का उत्तुंग व्यक्तित्व तो था ही, वे अत्यंत चतुर एवं चाणाक्ष भी थे। उनका बहुविद व्यक्तित्व राजनीति के सीमित दायरे के बाहर भी फैला था। वे एक श्रेष्ठ विचारक व बुद्धिमान साहित्यिक थे। तेलुगू में कविता लिखते थे, किन्तु नाट एवं अन्य ललित कलाओं के मर्मज्ञ भी थे।सन् 1940 में वंदेमातरम गाने के अपराध में उन्हें हैदराबाद रियासत से बहिष्कृत कर दिया गया। वे पुणे आए, वहां मराठी व हिन्दी पर भी उन्होंने प्रभुत्व स्थापित कर लिया। प्रतिमाह खर्च के लिए घर से 3 रुपए प्राप्त होते थे, जिसमें से 2 रुपए में मास भर का खर्च चलाते थे और 1 रुपया नाट शिरोमणि बालगंधर्व के नाटक देखने हेतु बचाकर रखते थे। ऐसे बहुप्रतिभा सम्पन्न पूर्व प्रधानमंत्री श्री पी.वी. नरसिंह राव के निधन के समाचार से हम सब को आघात पहुंचा है। पिछले कुछ समय से वे अस्वस्थ चल रहे थे, लेकिन सबको उम्मीद थी कि वे ठीक होकर जल्द ही फिर राष्ट्र की सेवा में रत होंगे। श्री राव के परिवार के प्रति हम अपनी गहरी संवेदना प्रकट करते हैं। श्री राव बहुमुखी प्रतिभावान व्यक्ति थे। महान गुणों और कौशल के वे धनी थे। राजनीतिज्ञ होने के साथ-साथ वे चिंतक, विद्वान, लेखक और एक श्रेष्ठ मनुष्य थे। कोलाहल और अस्थिरतापूर्ण समय में उन्होंने देश का जिस कुशलता के साथ नेतृत्व किया उसे देखते हुए उन्हें “भारतीय राजनीति का चाणक्य” कहा गया। वैचारिक मतभेदों के बावजूद संघ के कई नेताओं के उनके साथ अच्छे संबंध थे। तीव्र मतभेद होते हुए भी न तो संघ के नेताओं ने और न ही श्री राव ने कभी आपसी संबंधों में कटुता पैदा होने दी। आज भारतीय राजनीति में उनके कद और विद्वता के राजनीतिज्ञ बहुत कम हैं।श्री राव के राजनीतिक जीवन का और एक पहलू था, वह था एक तीर से अनेक शिकार करने की उनकी चाणक्य बुद्धि। कुछ समाचार पत्रों ने उन पर आरोप लगाया कि जब अयोध्या में तथाकथित बाबरी ढांचा ढहाया जा रहा था तब वे निष्क्रिय बने रहे। किन्तु यह निष्क्रियता अकारण नहीं थी। बाबरी ढांचे के विध्वंस की स्थिति को पैदा करने के पीछे उनके राजनीतिक गणित चाहे जो रहे हों, लेकिन मुस्लिम समाज तथा सेकुलरवादियों ने इस विध्वंस के लिए उन्हीं को दोषी ठहराया और कांग्रेस में अपनी स्थिति बचाए रखने के लिए उन्हें चार राज्यों में भाजपा सरकारों को अकारण ही बर्खास्त करना पड़ा तथा रा.स्व. संघ, विश्व हिन्दू परिषद् व बजरंग दल को प्रतिबंधित कर हिन्दू समाज के रोष को झेलना पड़ा। वे इतिहास में इस बात के लिए हमेशा स्मरण किए जाएंगे कि रामलला के विग्रह की पुन:प्रतिष्ठा एवं उनके अस्थायी मंदिर की स्थापना होने तक उन्होंने केन्द्रीय सुरक्षा बलों को उस परिसर में प्रवेश की अनुमति नहीं दी थी। भारतीय राजनीति पर उन्होंने अपनी अमिट छवि छोड़ी है। उन्हें हम सबकी ओर से सादर श्रद्धाञ्जलि अर्पित है और परमपिता परमेश्वर से प्रार्थना है कि दिवंगत आत्मा को अपने श्री चरणों में स्थान दें।NEWS

ShareTweetSendShareSend
Subscribe Panchjanya YouTube Channel

संबंधित समाचार

ए जयशंकर, भारत के विदेश मंत्री

पाकिस्तान ने भारत के 3 राफेल विमान मार गिराए, जानें क्या है एस जयशंकर के वायरल वीडियो की सच्चाई

Uttarakhand court sentenced 20 years of imprisonment to Love jihad criminal

जालंधर : मिशनरी स्कूल में बच्ची का यौन शोषण, तोबियस मसीह को 20 साल की कैद

पिथौरागढ़ में सड़क हादसा : 8 की मौत 5 घायल, सीएम धामी ने जताया दुःख

अमृतसर : स्वर्ण मंदिर को लगातार दूसरे दिन RDX से उड़ाने की धमकी, SGPC ने की कार्रवाई मांगी

राहुल गांधी ने किया आत्मसमर्पण, जमानत पर हुए रिहा

लखनऊ : अंतरिक्ष से लौटा लखनऊ का लाल, सीएम योगी ने जताया हर्ष

टिप्पणियाँ

यहां/नीचे/दिए गए स्थान पर पोस्ट की गई टिप्पणियां पाञ्चजन्य की ओर से नहीं हैं। टिप्पणी पोस्ट करने वाला व्यक्ति पूरी तरह से इसकी जिम्मेदारी के स्वामित्व में होगा। केंद्र सरकार के आईटी नियमों के मुताबिक, किसी व्यक्ति, धर्म, समुदाय या राष्ट्र के खिलाफ किया गया अश्लील या आपत्तिजनक बयान एक दंडनीय अपराध है। इस तरह की गतिविधियों में शामिल लोगों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी।

ताज़ा समाचार

ए जयशंकर, भारत के विदेश मंत्री

पाकिस्तान ने भारत के 3 राफेल विमान मार गिराए, जानें क्या है एस जयशंकर के वायरल वीडियो की सच्चाई

Uttarakhand court sentenced 20 years of imprisonment to Love jihad criminal

जालंधर : मिशनरी स्कूल में बच्ची का यौन शोषण, तोबियस मसीह को 20 साल की कैद

पिथौरागढ़ में सड़क हादसा : 8 की मौत 5 घायल, सीएम धामी ने जताया दुःख

अमृतसर : स्वर्ण मंदिर को लगातार दूसरे दिन RDX से उड़ाने की धमकी, SGPC ने की कार्रवाई मांगी

राहुल गांधी ने किया आत्मसमर्पण, जमानत पर हुए रिहा

लखनऊ : अंतरिक्ष से लौटा लखनऊ का लाल, सीएम योगी ने जताया हर्ष

छत्रपति शिवाजी महाराज

रायगढ़ का किला, छत्रपति शिवाजी महाराज और हिंदवी स्वराज्य

शुभांशु की ऐतिहासिक यात्रा और भारत की अंतरिक्ष रणनीति का नया युग : ‘स्पेस लीडर’ बनने की दिशा में अग्रसर भारत

सीएम धामी का पर्यटन से रोजगार पर फोकस, कहा- ‘मुझे पर्यटन में रोजगार की बढ़ती संख्या चाहिए’

बांग्लादेश से घुसपैठ : धुबरी रहा घुसपैठियों की पसंद, कांग्रेस ने दिया राजनीतिक संरक्षण

  • Privacy
  • Terms
  • Cookie Policy
  • Refund and Cancellation
  • Delivery and Shipping

© Bharat Prakashan (Delhi) Limited.
Tech-enabled by Ananthapuri Technologies

  • Search Panchjanya
  • होम
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • वेब स्टोरी
  • जीवनशैली
  • विश्लेषण
  • लव जिहाद
  • खेल
  • मनोरंजन
  • यात्रा
  • स्वास्थ्य
  • धर्म-संस्कृति
  • पर्यावरण
  • बिजनेस
  • साक्षात्कार
  • शिक्षा
  • रक्षा
  • ऑटो
  • पुस्तकें
  • सोशल मीडिया
  • विज्ञान और तकनीक
  • मत अभिमत
  • श्रद्धांजलि
  • संविधान
  • आजादी का अमृत महोत्सव
  • लोकसभा चुनाव
  • वोकल फॉर लोकल
  • बोली में बुलेटिन
  • ओलंपिक गेम्स 2024
  • पॉडकास्ट
  • पत्रिका
  • हमारे लेखक
  • Read Ecopy
  • About Us
  • Contact Us
  • Careers @ BPDL
  • प्रसार विभाग – Circulation
  • Advertise
  • Privacy Policy

© Bharat Prakashan (Delhi) Limited.
Tech-enabled by Ananthapuri Technologies