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द सविता चढ्ढाएक मछली कर देती है गंदलासारे का सारा तालाबसुना है मैंनेआपने भी सुना होगा।मेरी तरह आपने भीचिंता जताई होगीउस मछली को पकड़ने, समझाने की।उस एक मछली की तलाश मेंप्रयासरत हूं न जाने कब सेशायद आपके साथ प्रयासरत हूंजन्म-जन्म से।प्रतीत होता है वह मछली एक नहींजो कर देती है गंदलाहर कोई तालाब।वह एक मछलीहम सबके भीतर तो नहींआओ प्रयास करें- सबउस एक मछली को मारने का।20
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