नई दिल्ली (हि.स.) । दक्षिण एशिया में बढ़ते तनाव के बीच अमेरिकी विदेश मंत्री मार्को रुबियो ने आज भारत के विदेश मंत्री एस. जयशंकर और पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज़ शरीफ़ से अलग-अलग बातचीत की। दोनों वार्ताओं में अमेरिका ने तत्काल तनाव कम करने की अपील की और आतंकवाद की निंदा की।
विदेश मंत्री रुबियो ने आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में भारत के साथ मिलकर काम करने की अमेरिका की प्रतिबद्धता की पुष्टि की। उन्होंने पाकिस्तान से आतंकवादी समूहों को किसी भी प्रकार का समर्थन बंद करने के लिए ठोस कदम उठाने का भी आह्वान दोहराया।
विदेश मंत्री जयशंकर से बातचीत में मंत्री रुबियो ने जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए भीषण आतंकवादी हमले पर गहरा शोक व्यक्त किया और कहा कि अमेरिका आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में भारत के साथ खड़ा है।
रुबियो ने भारत-पाकिस्तान के बीच प्रत्यक्ष संवाद को बढ़ावा देने की भी बात कही और संचार माध्यमों को खुला रखने के प्रयासों की सराहना की।
पाकिस्तान के प्रधानमंत्री से बातचीत में उन्होंने स्पष्ट रूप से पाकिस्तान से आतंकवादी समूहों को समर्थन बंद करने के लिए “ठोस कदम” उठाने की मांग की। साथ ही वर्तमान संघर्ष में नागरिकों की कथित क्षति पर दुख व्यक्त किया।
उधर एक पत्रकार वार्ता के दौरान अमेरिकी विदेश विभाग की प्रवक्ता टैमी ब्रूस से यह पूछा गया कि ‘क्या यह संयुक्त राज्य अमेरिका और भारत का दृष्टिकोण है कि पाकिस्तान आतंकवादी समूहों का समर्थन कर रहा है?’
तो टैमी ब्रूस ने इस सवाल के जवाब पर कहा- “आज की दुनिया में, यह एक ऐसा आह्वान है जो हम दशकों से कर रहे हैं। यह वह गतिशीलता है जिसे हमने मध्य पूर्व में जीवन को अस्त-व्यस्त करते हुए देखा है और स्पष्ट रूप से कश्मीर में जो हुआ वह भयानक है और हम सभी ने अपनी संवेदनाएँ भेजी हैं। दुनिया ने उस तरह की हिंसा की प्रकृति को अस्वीकार कर दिया है…”
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