बुलंदशहर। पश्चिमी यूपी का खतरनाक अपराधी राजेश जाटव बुलंदशहर पुलिस के साथ मुठभेड़ में मारा गया है। फायरिंग में थाना प्रभारी और सिपाही भी घायल हो गए। राजेश कई जिलों में वारदातें करता था। उसके खिलाफ विभिन्न थानों में 50 से अधिक गंभीर आपराधिक केस दर्ज चल रहे थे। बुलंदशहर और अलीगढ़ पुलिस ने उसे जिंदा या मुर्दा पकड़ने को डेढ़ लाख का इनाम घोषित कर रखा था।
एसएसपी बुलंदशहर श्लोक कुमार ने मीडिया को बताया कि मुठभेड़ में घायल हुए थाना प्रभारी अहार यंग बहादुर और एक सिपाही को इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया है। फायरिंग में गोली लगने के बाद इनामी अपराधी राजेश जाटव को चिकित्सालय पहुंचाया गया, लेकिन उसकी मौत हो गई। एसएसपी के अनुसार, रविवार तड़के सीओ अनूपशहर गिरजा शंकर त्रिपाठी व थाना प्रभारी यंग बहादुर सिंह इनामी अपराधियों की धरपकड़ को रणनीति बनाने स्वाट टीम कार्यालय आए थे। इसी दौरान अपराधियों के बारे में सटीक सूचना मिली। संयुक्त टीम ने चुंगी चौराहे पर पहुंचकर चेकिंग शुरू की तो एक बाइक पर दो संदिग्ध व्यक्ति आते हुए दिखाई दिए। पुलिस की गाड़ी को देखकर बाइक सवार भागने लगे। पुलिस ने पीछा किया गया तो बदमाशों ने फायरिंग शुरू कर दी।
कई थानों की पुलिस उनकी घेराबंदी में जुट गईं। आमना-सामना होने पर बदमाशों ने गोलियां चलाईं। जवाबी कार्रवाई में डेढ़ लाख का इनामी अपराधी राजेश जाटव मारा गया। 30 साल के राजेश के खिलाफ लूट, डकैती, हत्या के प्रयास जैसे दर्जनों मुकदमे दर्ज चल रहे थे और पुलिस काफी समय से उसकी तलाश में जुटी थी। राजेश के गिरोह में 12 से अधिक अपराधी शामिल थे और वह लगातार घटनाएं कर रहा था। मारा गया राजेश सिहालीनगर गांव का रहने वाला था। उसके भाई चेन्नई में काम करते हैं, जबकि वह अपराध की राह पर चल पड़ा था।
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