केरल के चर्च द्वारा संचालित एक निर्मला कॉलेज में कुछ मुस्लिम छात्राओं द्वारा नमाज पढ़े जाने की घटना पर मुस्लिम इबादतगाहों के एक संयुक्त प्रतिनिधिमंडल ने कॉलेज प्रशासन से मुलाकात की। इसके साथ ही मुस्लिम संगठनों ने माफी भी मांगी।
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रिपोर्ट के मुताबिक, इस समूह में सेंट्रल महल के प्रमुख इमाम शिहाबुद्दीन फैजी, पेट्टा मुहीउद्दीन जुमा मस्जिद के इमाम कंजर निसार मौलवी, जमात के अध्यक्ष पीएम अध्यक्ष अब्दुल सलाम, के एम जीतू मुहम्मद रावतर और पीएसए लतीफ शामिल थे। मुस्लिम यूथ लीग के जिला सचिव हाशिम पी मुहम्मद ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि विरोध प्रदर्शन वास्तविकता की भावना को भूलकर किया गया है। मुहम्मद ने कहा कि ऐसा कोई भी विरोध नहीं होना चाहिए, जिससे आम समाज में विभाजन पैदा हो।
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मुस्लिम समुदाय के प्रतिनिधियों ने ईसाई कॉलेज प्रशासन से माफी मांगते हुए कहा कि ये केवल जानकारी की कमी के कारण हुआ है। छात्रों की जिद पूरी तरह से अस्वीकार्य है, क्योंकि पास में ही एक मस्जिद स्थित है, जहां पर महिलाएं भी नमाज अदा कर सकती हैं। अगर किसी भी तरह की कोई खामियां हैं तो उन्हें दूर किया जा सकता है।
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कैथोलिक चर्च के अधिकारियों ने दो टूक कहा है कि वे कोठामंगलम डायोसिस के अंतर्गत आने वाले कॉलेज में नमाज पढ़ने की जगह नहीं देंगे। निर्मला कॉलेज की परंपरा 71 वर्ष पुरानी है, जिसकी 3000 से अधिक छात्र हैं। प्रिंसिपल फादर फ्रांसिस कन्नडन ने लोगों को उनके समर्थन के लिए धन्यवाद दिया।
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