इनकम टैक्स मामले में कांग्रेस को बड़ा झटका लगा है। दिल्ली हाई कोर्ट ने कांग्रेस से 105 करोड़ रुपये वसूल करने के आदेश पर रोक लगाने की मांग वाली याचिका खारिज कर दी है। जस्टिस यशवंत वर्मा की अध्यक्षता वाली बेंच ने याचिका खारिज करने का आदेश दिया।
इससे पहले दिल्ली हाई कोर्ट ने कांग्रेस को फटकार लगाते हुए पूछा था कि क्या तीन साल तक सो रहे थे। आयकर अपीलीय न्यायाधिकरण द्वारा अपना आवेदन खारिज किए जाने पर कांग्रेस ने अदालत का दरवाजा खटखटाया था। ट्रिब्यूनल ने 105 करोड़ रुपये से ज्यादा के बकाया टैक्स की वसूली को लेकर कांग्रेस को नोटिस जारी किया है।
आदेश में कोई खामी नहीं है
जस्टिस यशवंत वर्मा और पुरुषेंद्र कुमार कौरव की बेंच ने फैसला सुरक्षित रखते हुए कहा था कि आयकर अपीलीय न्यायाधिकरण के आदेश में कोई भी खामी नहीं है। कांग्रेस के खिलाफ यह कार्रवाई साल 2021 में शुरू हुई थी, इस पर कोर्ट ने सख्त रुख अपनाया और पूछा कि क्या वे अब तक सो रहे थे। पीठ ने यह भी कहा कि इस मामले को बहुत गलत तरीके से संभाला गया है। पीठ ने कहा कि याचिकाकर्ता को खुद को दोषी मानना चाहिए। ये मामला 2021 का है और ऐसा लगता है कि आपने इसके लिए कोई प्रयास नहीं किया ऐसा लगता है कि याचिकाकर्ता के कार्यालय में 2021 से कोई सो रहा था। इस दौरान पीठ ने संकेत दिया कि मामले में फैसला बुधवार 13 मार्च को आ सकता है। कोर्ट में कांग्रेस की ओर से पेश वरिष्ठ वकील विवेक तन्खा ने कहा कि पार्टी के खाते भी फ्रीज कर दिए गए हैं। अगर ऐसा ही चलता रहा तो पार्टी टूट जाएगी।
आईटी विभाग के वकील की दलील
अधिवक्ता ने कहा कि कुछ ही दिनों में 2024 के लोकसभा चुनाव की घोषणा होने वाली है। अगर कोई राष्ट्रीय पार्टी अपने पैसे का इस्तेमाल नहीं कर सकती तो वह चुनाव कैसे लड़ेगी? वहीं, आयकर विभाग की ओर से पेश वकील जोहेब हुसैन ने दलील दी कि यह कहना गलत है कि कार्रवाई चुनाव से ठीक पहले शुरू हुई। उन्होंने कहा कि हमने दिखाया कि 2021 से कार्रवाई चल रही है।
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