इजरायल हमास युद्ध के बीच हमास द्वारा अपहरण किए गए इजरायली बंधकों के परिवारों ने बुधवार को हेग स्थित अंतरराष्ट्रीय आपराधिक न्यायालय में हमास के आतंकियों के खिलाफ युद्ध अपराध की शिकायत करने का ऐलान किया है।
टाइम्स ऑफ इजरायल की रिपोर्ट के मुताबिक, बंधकों के परिवारों के करीब 100 प्रतिनिधि हेग के लिए रवाना हो रहे हैं। बंधकों और लापता परिवार फोरम की ओर से आयोजित प्रेस कॉन्फ्रेंस में ओफरी बिबास, जिनके भाई यार्डन, यार्डन की पत्नी और उसके दो छोटे बच्चों को आतंकी संगठन हमास ने गाजा में बंधक बना कर रखा हुआ है। बिबास ने कहा कि वे लोग उन आतंकवादियों की दया पर हैं, जिन्होंने हत्याएं, बलात्कार और अत्याचार किए हैं, यह खत्म नहीं हो रहा है।
बिबास ने कहा कि आज हम लोग इतिहास बनाने जा रहे हैं। यह हमारी लड़ाई का महत्वपूर्ण हिस्सा है, हमारे देश और दुनियाभर के लोगों को ‘अब और नहीं’ कहना होगा। क्योंकि ये कहानी सिर्फ हमारी नहीं है। अगर आज हम इसे नहीं रोकते हैं तो कल को ये दुनियाभर की कहानी होगी।
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इसी तरह से इनबार गोल्डस्टीन भी हेग जा रही हैं। हमास के कट्टरपंथी आतंकियों ने उनके भाई नदव की हत्या कर दी थी और भतीजे का अपहरण कर लिया था। लेकिन फिलहाल वो छूट चुके हैं। गोल्डस्टीन का कहना है कि बंधकों के परिवार वैश्विक निकाय से कुछ हद तक न्याय पाने की उम्मीद कर रहे हैं। वह कहती हैं, “हम अंतरराष्ट्रीय आपराधिक न्यायालय जा रहे हैं ताकि वो हमें देख सकें और हम देखे जा सकें। हम उन लोगों की आवाज बनकर जा रहे हैं, जिनकी आवाज को सुना नहीं जाता है। हम यह सुनिश्चित करने जा रहे हैं कि हम इतिहास को केवल वैसे ही नहीं देख रहे हैं जैसे वह घटित होता है, बल्कि इसे व्यवहार में, स्वयं के साथ और अपने शब्दों में लिख रहे हैं।”
מעמד מרגש והיסטורי הבוקר בנתב"ג: 100 משפחות חטופים כולל החטופים ששבו איתי רגב (בתמונה) ורז בן עמי בדרך להאג להגיש תלונה בבית הדין הפלילי הבינ' נגד ראשי חמאס pic.twitter.com/Te9azu73fo
— Nitsan Shafir ניצן שפיר (@nitsanshafir) February 14, 2024
क्या है पूरा मामला
गौरतलब है कि 7 अक्टूबर 2023 को शनिवार के दिन जब पूरा इजरायल राष्ट्रीय छुट्टी मना रहा था तो उसी दौरान हमास के इस्लामिक कट्टरपंथी आतंकियों ने इजरायल में भीषण नरसंहार किया था। कई महिलओं और बच्चों का रेप करने के बाद आतंकियों ने बेरहमी से उनकी हत्याएं कर दी। कई निर्दोष नागरिकों को जिंदा जला दिया गया। इस हमले में करीब 1400 लोगों की हत्या कर दी गई थी। साथ ही करीब 240 लोगों को बंधक बना लिया गया था।
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