बिहार जिहादी तत्वों का केंद्र बनता जा रहा है। समय—समय पर यहां के कुछ लोगों द्वारा की जा रहीं देश—विरोधी गतिविधियां सबको चौंका देती हैं। कभी सिवान में राजद के सांसद रहे शहाबुद्दीन ने इस्लामिक विश्वविद्यालय की कल्पना की थी। बाद में उसे कई मामलों में आजीवन सजा हुई और दिल्ली की तिहाड़ जेल में बंद रहा। दिल्ली में ही हुई उसकी मौत भी हो गई। उसके नक्शेकदम पर चलते हुए सिवान के कुछ लोग अलग मुस्लिम देश की मांग करने लगे हैं। एक ऐसा ही नाम है खुर्शीद आलम का। यह खुर्शीद सिवान के गोरियाकोठी के नारायण कॉलेज में सहयक प्रोफेसर है। इसने मुस्लिमों के लिए एक अलग राष्ट्र की मांग की है। डेहरी ऑन सोन के रहने वाले खुर्शीद ने कुछ दिन पहले सोशल मीडिया पर एक पोस्ट लिखी थी। इस पोस्ट में उसने भारत में एक अलग मुस्लिम राष्ट्र की मांग कर की है। उसने ‘पकिस्तान और बांग्लादेश जिंदाबाद’ के नारे भी लगाए।
आलम ने अपनी फेसबुक पोस्ट में लिखा है, ”मैं राज्य और देश की सरकारों से अपील करता हूं कि भारतीय मुसलमान पाकिस्तान और बांग्लादेश से जुड़ा एक अलग राष्ट्र चाहते हैं।” उसके इस पोस्ट पर खुब हंगामा हो रहा है। नारायण कॉलेज परिसर में जमकर विरोध प्रदर्शन किया गया। छात्रों ने भारत माता की जय, हिंदुस्थान जिंदाबाद, पाकिस्तान मुर्दाबाद, खुर्शीद आलम को बर्खास्त करो आदि नारे लगाए गए। कॉलेज परिसर में ही अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद की ओर से खुर्शीद आलम का पुतला दहन किया गया। विद्यार्थी परिषद ने सिवान के जिलाधिकारी को एक ज्ञापन सौंप कर इस असिस्टेंट प्रोफेसर के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की है।
कई लोगों ने आलम के अतीत तथा अन्य गतिविधियों की जांच करने की मांग की है। कई लोगों ने अंदेशा व्यक्त की है कि आलम देश विरोधी किसी संगठन से जुड़ा हो सकता है। इसकी गहराई से जांच होनी चाहिए। निश्चित रूप से यह चिंता की बात है कि जब इतने पढ़े-लिखे लोग देश विरोधी कार्यों में लिप्त रहेंगे तो आम लोगों में क्या संदेश जाएगा? हंगामे के बीच पुलिस ने आलम को थाने तक लाया।
वहीं, विवाद बढ़ने के बाद खुर्शीद ने भी माफी मांग ली है। साथ ही यूनाइटेड पाकिस्तान और बांग्लादेश वाली फेसबुक पोस्ट को भी हटा दिया है। हंगामे को देखते हुए उसने अपने पद से इस्तीफा भी दे दिया है। गोरियाकोठी के स्थानीय विधायक ने इसे देश विरोधी कृत्य बताया है।
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