गुजरात हाई कोर्ट ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के डिग्री विवाद के मामले में गुरुवार को अरविंद केजरीवाल को तगड़ा झटका दिया है। कोर्ट ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की शैक्षणिक डिग्रियों से जुड़ी गुजरात विश्वविद्यालय की याचिका पर दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की रिव्यु पिटिशन को खारिज कर दिया है।
दरअसल, अरविंद केजरीवाल इस मामले पर उच्च न्यायालय के मार्च के आदेश की समीक्षा की मांग कर रहे थे। अपने मार्च के आदेश में अदालत ने गुजरात विश्वविद्यालय की याचिका को स्वीकार कर लिया था और केंद्रीय सूचना आयोग (सीआईसी) के उस आदेश को रद्द कर दिया था, जिसने विश्वविद्यालय को पीएम मोदी की शैक्षणिक डिग्री के संबंध में ‘जानकारी खोजने’ का निर्देश दिया था। कोर्ट ने याचिका खारिज करते हुए 25 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया था।
अपनी समीक्षा याचिका में केजरीवाल ने पीएम की डिग्री के मामले पर कायम रहने के लिए अदालत द्वारा उन पर लगाए गए 25,000 रुपये के जुर्माने को भी चुनौती दी थी।
केजरीवाल ने पीएम की छवि खराब करने की कोशिश
इस बीच गुजरात यूनिवर्सिटी ने अरविंद केजरीवाल पर पीएम नरेंद्र मोदी की इमेज को खराब करने की साजिश करने का आऱोप लगाया है। गुजरात हाई कोर्ट में दायर की गई एक याचिका में विश्वविद्यालय का कहना है कि आम आदमी पार्टी के प्रमुख अरविंद केजरीवाल और सांसद संजय सिंह ने यूनिवर्सिटी की प्रतिष्ठा पर दाग लगाने की कोशिश की है। विश्वविद्यालय ने दावा किया है कि पीएम मोदी की डिग्री को संस्थान की बेवसाइट पर अपलोड किया जा चुका है, लेकिन फिर भी केजरीवाल झूठ बोल रहा है।
उच्च न्यायालय द्वारा पहले मुख्य सूचना आयोग (सीआईसी) के एक आदेश को खारिज करने के बाद केजरीवाल ने समीक्षा याचिका दायर की, जिसमें निर्देश दिया गया था कि प्रधान मंत्री मोदी की डिग्री का विवरण प्रस्तुत किया जाए। बहरहाल इस मामले में फैसला जस्टिस बीरेन वैष्णव ने दिया है।
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