नई दिल्ली। कर्नाटक की कांग्रेस सरकार कन्वर्जन विरोधी कानून वापस लेगी। सिद्धारमैया सरकार की कैबिनेट की बैठक में यह फैसला लिया गया है। इस बात की भी चर्चा है कि कांग्रेस सरकार गोहत्या निरोधक कानून के कड़े प्रावधानों को भी हटा सकती है।
कांग्रेस ने चुनाव के दौरान घोषणा की थी पिछली सरकार ने बीते साल जो भी बदलाव किए थे, उन्हें वापस लिया जाएगा। इसके तहत कन्वर्जन विरोधी कानून वापस लेने का निर्णय लिया गया है।
भाजपा सरकार जबरन कन्वर्जन की घटनाओं को देखते हुए कन्वर्जन विरोधी कानून लेकर आई थी। यदि कोई जबरन कन्वर्जन कराता है तो 25 हजार रुपये का जुर्माना और तीन से पांच साल की कैद का प्रावधान था। नाबालिग, महिलाओं और अनुसूचित जाति-जनजाति के जबरन कन्वर्जन पर 50 हजार रुपये का जुर्माना और तीन से दस साल तक की कैद थी। इस कानून को अब कांग्रेस सरकार वापस लेगी।
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के संस्थापक डॉ केशवराव बलिराम हेडगेवार का अध्याय सिलेबस से हटाने का भी निर्णय लिया गया है। सिलेबस में सावित्रीबाई फुले, इंदिरा गांधी को लिखे गए जवाहरलाल नेहरू के पत्रों और बाबा साहेब आंबेडकर पर कविता को पाठ्यक्रम में शामिल किया जाएगा।
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