केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने रेपो रेट नहीं बढ़ाने पर आरबीआई के फैसले को सही ठहराया है। सीतारमण ने पैन से आधार को लिंक करने में देरी पर लग रहे जुर्माने का बचाव भी किया। उन्होंने कीमतें बढ़ने के मुद्दे पर कहा कि मुद्रास्फीति को छह फीसदी यानी उसके नीचे रखा गया है। बेंगलुरु में आयोजित एक कार्यक्रम के बाद प्रेस कांफ्रेंस के दौरान सीतारमण ने यह बात कही।
वित्त मंत्री ने कहा कि पैन को आधार से लिंक कराने के लिए पहले बहुत समय दिया गया था। उन्होंने कहा कि जिन लोगों ने ऐसा अब तक नहीं कराया है, उन्हें तत्काल ऐसा करा लेना चाहिए। सीतारमण ने पैन से आधार को लिंक करने में देरी पर लग रहे जुर्माने का बचाव करते हुए कहा कि आधार से पैन लिकिंग 31 मार्च, 2022 तक मुफ्त था। इसके बाद एक अप्रैल, 2022 से उस पर 500 रुपये जुर्माने का प्रावधान किया गया, जिसे जुलाई महीने में बढ़ाकर एक हजार रुपये कर दिया गया। अगर अब भी लोग इसका लाभ नहीं उठाते हैं तो इसे और बढ़ाया जाएगा।
पैन को आधार से लिंक करने की समय-सीमा बढ़ी, जानिए क्या है डेडलाइन
अडाणी पर पूछे गए एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि विपक्ष के पास कोई मुद्दा नहीं है। ममता बनर्जी खुद अडानी का स्वागत करती हैं। छत्तीसगढ़ और राजस्थान में अडाणी समूह ने निवेश किया है। सीतारमण ने कहा कि केरल की कांग्रेस सरकार ने थाली में सजाकर विझिंगम पोर्ट अडाणी समूह को दिया था। यह फैसला किसी निविदा के आधार पर नहीं किया गया था। उन्होंने कहा कि आप हमसे सवाल करें, हमें परवाह नहीं है लेकिन हमारे पास कुछ छुपाने के लिए नहीं है।
इससे पहले वित्त मंत्री ने एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि भारत ने न केवल कोरोना के बाद आर्थिक सुधार पर ध्यान केंद्रित किया, बल्कि डिजिटलीकरण के साथ आगे बढ़ने और 21वीं सदी की अर्थव्यवस्था बनने के लिए देश द्वारा आवश्यक सुधारों को जारी रखने का अवसर भी नहीं गंवाया।
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