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उत्तरांचल उत्थान परिषद द्वारा पर्वतीय लोकविकास समिति, उत्तराखंड क्लब, गढ़वाल हितैषिणी सभा एवं हिम उत्तरायणी आदि संस्थाओं के सहयोग से एनडीएमसी हॉल, कनॉट प्लेस नई दिल्ली में प्रवासी पंचायत आयोजित की गयी। इस पंचायत में केन्द्रीय गृहमंत्री श्री राजनाथ सिंह मुख्य अतिथि थे। उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री एवं सांसद भगत सिंह कोश्यारी, राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के ग्राम विकास प्रकल्प प्रमुख डॉ. दिनेश, हिमालय परिवार के अध्यक्ष स्वामी यतीन्द्रनाथ गिरि, रा.स्व.संघ के पश्चिमी उत्तर प्रदेश के क्षेत्र प्रचारक श्री आलोक कुमार, उत्तराखंड के प्रांत कार्यवाह लक्ष्मीप्रसाद जायसवाल, प्रान्त प्रचारक डॉ. हरीश रौतेला और दिल्ली प्रान्त प्रचारक श्री हरीश की उपस्थिति में उत्तराखंड के गांवों में जारी पलायन को रोकने हेतु विभिन्न सत्रों में गहन चर्चा हुई, जिसमें राज्य की शिक्षा और स्वास्थ्य व्यवस्था को सुचारु बनाते हुए प्रतिभाशाली युवाओं के लिए स्थानीय स्तर पर रोजगार मुहैया करने की बात हुई। गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने अपने उद्घाटन भाषण में कहा कि उत्तराखंड के लोगों में शालीनता और विनम्रता के साथ साहस और शौर्य का अद्भुत गुण विद्यमान है जिस कारण देश में ही नहीं विश्वभर में यहां के लोगों की प्रतिभा को सम्मान प्राप्त होता है। उत्तराखंड का व्यक्ति बड़े मन वाला होता है।
श्री राजनाथ सिंह ने कुमाउनी-गढ़वाली बोली को संविधान की आठवीं अनुसूची में शामिल करने हेतु सभी संस्थाओं द्वारा तैयार संयुक्त ज्ञापन को स्वीकार करते हुए विश्वास दिलाया कि इसे संसद के समक्ष प्रस्तुत करके पूरी प्रक्रिया के साथ क्रियान्वित किया जाएगा। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के ग्राम विकास प्रकल्प प्रमुख डॉ. दिनेश ने कहा कि उत्तराखंड में 50 हजार की जनसंख्या पर कोई थाना नहीं है। यह ग्राम व्यवस्था का श्रेष्ठ उदाहरण है। उत्तराखंड के लोग इस दैवीय संस्कृति को अपने आचरण में आज भी चरितार्थ करते हैं चाहे वे देश के किसी कोने में हों अथवा विदेश में। हमारे प्रवासी उत्तराखंडियों और उत्तराखंड प्रेमियों को यहां की नैसर्गिक सुन्दरता का आनंद लेने के लिए वर्ष में एक बार गांव अवश्य जाना चाहिए, हिमालय परिवार के राष्ट्रीय अध्यक्ष स्वामी यतीन्द्रनाथ गिरि ने कहा कि सरकार को बढ़ते शहरीकरण को रोकने हेतु गांव में बुनियादी सुविधा के साथ वहां की सब्जियों, दालों और कृषि उत्पादों के लिए भंडारण, विपणन की व्यवस्था युक्त ग्रामोन्मुखी योजनायें बनानी चाहिए।
संघ के पश्चिमी उत्तर प्रदेश के क्षेत्र प्रचारक श्री आलोक कुमार ने कहा कि हिमाचल और उत्तराखंड के लोगों में अंतर ये है कि वहां का कैबिनेट सचिव भी गांव जाकर डीएम से अपने गांव को ठीक करवाता है जबकि उत्तराखंड के अधिकारी स्तर के व्यक्ति ऐसा बहुत कम करते हैं। यदि वहां भी वर्ष में उत्तरायणी या बैसाखी जैसे आयोजन हों तो सभी लोग एक बार गांव अवश्य आयेंगे।
दिल्ली में विभिन्न प्रवासी संस्थाओं को इस पंचायत के लिए एक मंच पर लाने वाले रा.स्व. संघ के दिल्ली प्रान्त प्रचारक श्री हरीश ने कहा कि प्रत्येक वर्ष स्कूल-कॉलेज की छुट्टियों के बाद गांव जाने के लिए मन आनंदित और वापस दिल्ली आने के लिए बोझिल हो जाता था। गांव वालों की सुध लेकर हमें मनों की यह दूरी कम कर परस्पर आत्मीयता बढ़ानी होगी।
उत्तराखंड के प्रांत प्रचारक डॉ. हरीश रौतेला ने कहा कि यहूदियों की अपनी विशेष पहचान है वे एक दबाव समूह वाले समाज के सबसे बड़े उदाहरण हैं, उनके दबाव के चलते शक्तिशाली अमेरिका चाहते हुए भी इस्रायल के खिलाफ ठोस कार्यवाही नहीं कर पाता। प्रवासी पंचायत में श्री राजनाथ सिंह ने ग्रामोत्थान के लिए योगदान देने वाले दिल्ली विश्वविद्यालय के प्रोफेसर डॉ़ एस.के. बन्दूनी, समाजसेवी उपेन्द्र पोखरियाल, पत्रकार मंजीत नेगी, संस्कृत प्राध्यापक डॉ. दयाल सिंह पंवार, भारतीय तटरक्षक बल के महानिदेशक राजेंद्र सिंह, सामजिक कार्यकर्ता सचिदानंद भारती, मातृ सदन चकराता से जुड़े लाला हरेराम गुप्ता और वीरेन्द्र कुमार एवं विवेकानंद विचार मंच के शशिपाल भनोट को सम्मानित किया, साथ ही श्री महादेव गिरि संस्कृत महाविद्यालय हल्द्वानी के 12वीं कक्षा के भीमताल के गणेश ग्याल का सम्मान भी किया जो अब तक 11 हजार पेड़ लगा चुका है। पूरे दिन भर विभिन्न सत्रों में चल रही चर्चाओं में वक्ताओं के रूप में लेखिका डॉ. सुनीति रावत, लेखक पूरण चन्द्र कांडपाल, पत्रकार एवं आन्दोलनकारी देव सिंह रावत, पटियाला से आये रमेश ध्यानी, नारायणबगड़ चमोली में सक्रिय हरपाल नेगी, मेरठ से आये वीरेन्द्र दत्त सेमवाल, उत्थान समिति के अध्यक्ष भजन सिंह खत्री, उपाध्यक्ष प्रेम बुड़ाकोटी, महामंत्री राम प्रकाश पैन्यूली, संगठन मंत्री राजेश थपलियाल, गंगा सभा के अनिल कुमार, प्रवासी पंचायत के उत्तराखंड संयोजक रमेश सेमवाल, उत्तराखंड क्लब के प्रेम रावत, शिक्षाविद कौस्तुभ पन्त एवं अपेडा के महाप्रबंधक एस.एस. रावत आदि ने अपने विचार व्यक्त किये। विभिन्न पत्रकारों, समाजसेवियों के साथ दिल्ली विधानसभा के पूर्व सदस्य मोहन सिंह बिष्ट, उत्तराखंड के पूर्व प्रवासी मंत्री पी.सी. नैलवाल और सचिदानन्द शर्मा, आंदोलनकारी नंदन सिंह रावत, उदय सिंह नेगी, डॉ. कृष्ण चन्द्र पांडे, सुबोध पुरोहित, श्रीमती कमला रावत कान्ता पंवार, भगवती प्रसाद पुरी एवं नरेन्द्र बड़थ्वाल आदि उपस्थित थे। प्रवासी पंचायत के विभिन्न सत्रों का संचालन संयुक्त रूप से पर्वतीय लोकविकास समिति के अध्यक्ष सूर्य प्रकाश सेमवाल, डॉ. नवदीप जोशी और ममता काला ने किया। आयोजन समिति के अध्यक्ष डॉ. विनोद बछेती ने आगंतुकों को स्वागत और संयोजक विक्रम सिंह रावत ने सबका आभार व्यक्त किया।
ल्ल प्रतिनिधि
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