|
निरोगी व स्वस्थ भारत के संकल्प के साथ आरोग्य भारती की भोपाल में आयोजित दो दिवसीय राष्ट्रीय संगोष्ठी का समापन 20 जुलाई को हुआ। संगोष्ठी में देशभर के स्वास्थ्य विशेषज्ञ, स्वैच्छिक संस्थाओं के प्रतिनिधि और विद्यार्थियों ने हिस्सा लिया। समापन अवसर पर आरोग्य भारती के राष्ट्रीय संगठन सचिव डॉ़ अशोक वार्ष्णेय ने कहा कि स्वस्थ जीवन-शैली के आधार पर सभी समस्याओं का समाधान किया जा सकता है। हमें अपनी जीवन-शैली के प्रति सजग, सावधान और संकल्पबद्ध होना होगा। श्रीश्री 108 माधव प्रपन्नाचार्य जी महाराज ने कहा कि आरोग्य भारती व्यक्ति के ही नहीं, वरन् देश के स्वास्थ्य की भी चिंता कर रही है। भोपाल के सांसद आलोक संजर ने कहा कि स्वस्थ व्यक्ति ही भारत के विकास में योगदान कर सकता है। प्रदेश के शिक्षा राज्यमंत्री दीपक जोशी ने कहा कि आयुर्वेद के माध्यम से स्वस्थ जीवन की पद्घति भारत ने दुनिया को दी है। आरोग्य भारती के राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ़ नरेन्द्र प्रसाद ने कहा कि स्वस्थ भारत का सपना एक महत्वाकांक्षी सोच है। इसे पूरा करने में हजारों संस्थाओं और लाखों कार्यकर्ताओं को जुटना होगा। संगोष्ठी को मध्य प्रदेश शासन के वैज्ञानिक सलाहकार प्रो़ प्रमोद कुमार वर्मा, डॉ़ विद्याधर कावलकर, डॉ़ आऱ बी़ द्विवेदी, डॉ़ यू़ एस़ निगम, डॉ़ विनय सिंह, डॉ़ एस़ सी़ दुबे, डॉ़ वी़ एऩ सिंह, डॉ. कमलेश शर्मा, डॉ़ लोकेन्द्र दवे, डॉ़ उमेश शुक्ला, डॉ़ एस. के़ मिश्रा, डॉ. करिश्मा नरवानी, डॉ़ लीला जोशी आदि ने भी सम्बोधित किया। संगोष्ठी में 'स्वस्थ जीवन-शैली : कला और विज्ञान' विषय से सम्बंधित कई शोध-पत्र पढे़ गए और विशेषज्ञों द्वारा अलग-अलग समूहों में चर्चा की गईं। संगोष्ठी के दौरान स्कूली विद्याथियों के बीच चित्रकला और चित्र प्रदर्शनी प्रतियोगिता का आयोजन भी किया गया। विजेता विद्यार्थियों को समापन समारोह में सम्मानित किया गया। सभी प्रतिभागियों को प्रमाण-पत्र दिए गए। – अनिल सौमित्र
इसे भी पढ़ें : 'बंगलादेश में छह माह में 3100 मन्दिर गिराए गए'
'आपका तो मेरे साथ खून का रिश्ता हो गया'
28 जुलाई को देहरादून के कोरोनेशन अस्पताल में एक चिन्तित पिता को उस समय बहुत राहत महसूस हुई जब उन्हें पता चला कि अस्पताल में भर्ती उनकी 14 वर्षीया पुत्री के लिए संघ के दो स्वयंसेवक रक्तदान करने आए हैं।
उल्लेखनीय है कि संघ के दो स्वयंसेवकों नरेश प्रसाद और प्रमोद मिश्र को किसी ने बताया कि कोरोनेशन अस्पताल में एक लड़की भर्ती है और उसे खून की जरूरत है। यह जानकारी मिलते ही दोनोंे अस्पताल पहंुचे और उस लड़की के पिता देवेन्द्र सिंह से सम्पर्क कर 2 यूनिट रक्तदान किया तथा भविष्य में भी सहयोग करने की बात कही। जब वे दोनों अस्पताल से जाने लगे तो देवेन्द्र सिंह बड़े भावुक हो गए और कहने लगे, अरे भाई आपका तो मेरे साथ खून का रिश्ता हो गया।
प्रतिनिधि
टिप्पणियाँ