दिल्ली में भाजपा की राष्ट्रीय कार्यकारिणी बैठक
July 14, 2025
  • Read Ecopy
  • Circulation
  • Advertise
  • Careers
  • About Us
  • Contact Us
android app
Panchjanya
  • ‌
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • वेब स्टोरी
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • अधिक ⋮
    • जीवनशैली
    • विश्लेषण
    • लव जिहाद
    • खेल
    • मनोरंजन
    • यात्रा
    • स्वास्थ्य
    • धर्म-संस्कृति
    • पर्यावरण
    • बिजनेस
    • साक्षात्कार
    • शिक्षा
    • रक्षा
    • ऑटो
    • पुस्तकें
    • सोशल मीडिया
    • विज्ञान और तकनीक
    • मत अभिमत
    • श्रद्धांजलि
    • संविधान
    • आजादी का अमृत महोत्सव
    • मानस के मोती
    • लोकसभा चुनाव
    • वोकल फॉर लोकल
    • जनजातीय नायक
    • बोली में बुलेटिन
    • पॉडकास्ट
    • पत्रिका
    • ओलंपिक गेम्स 2024
    • हमारे लेखक
SUBSCRIBE
  • ‌
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • वेब स्टोरी
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • अधिक ⋮
    • जीवनशैली
    • विश्लेषण
    • लव जिहाद
    • खेल
    • मनोरंजन
    • यात्रा
    • स्वास्थ्य
    • धर्म-संस्कृति
    • पर्यावरण
    • बिजनेस
    • साक्षात्कार
    • शिक्षा
    • रक्षा
    • ऑटो
    • पुस्तकें
    • सोशल मीडिया
    • विज्ञान और तकनीक
    • मत अभिमत
    • श्रद्धांजलि
    • संविधान
    • आजादी का अमृत महोत्सव
    • मानस के मोती
    • लोकसभा चुनाव
    • वोकल फॉर लोकल
    • जनजातीय नायक
    • बोली में बुलेटिन
    • पॉडकास्ट
    • पत्रिका
    • ओलंपिक गेम्स 2024
    • हमारे लेखक
Panchjanya
panchjanya android mobile app
  • होम
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • वेब स्टोरी
  • जीवनशैली
  • विश्लेषण
  • मत अभिमत
  • रक्षा
  • धर्म-संस्कृति
  • पत्रिका
होम Archive

दिल्ली में भाजपा की राष्ट्रीय कार्यकारिणी बैठक

by
Aug 7, 2007, 12:00 am IST
in Archive
FacebookTwitterWhatsAppTelegramEmail

दिंनाक: 07 Aug 2007 00:00:00

विचार और विस्तार पर बल-आलोक गोस्वामीकार्यसमिति में पारित प्रस्तावों के मुख्य अंशविशेष प्रस्तावरामसेतु बचाओ-विरासत बचाओ-भारत बचाओरामसेतु एक तथ्य है मिथक नहींदो महाकाव्यों—रामायण तथा महाभारत में और अन्य भारतीय पाठ्यपुस्तकों में जो कुछ वर्णित किया गया है उसके अलावा रामसेतु के अस्तित्व की अनेक विदेशी यात्रियों, जिनमें वैनिस का यात्री मार्कोपोलो (1254-1324) भी शामिल है, मानचित्रकारों, नासा तथा इसरो द्वारा जारी चित्रों तथा 1747, 1788 और 1804 में तैयार किए गए मानचित्रों द्वारा भी इसकी पुष्टि की गई है कि रामसेतु अब भी मौजूद है।वर्तमान नहर मार्ग का विरोध क्योंविशेषज्ञों द्वारा संकेत किया गया था कि रामसेतु बंगाल की खाड़ी को मन्नार खाड़ी के शांत और सौम्य जल से विभाजित करता है। रामसेतु तोड़ा गया तो मछलियों की दुर्लभ प्रजातियां लुप्त हो जाएंगी, जिससे हजारों परिवार-रोजगार रहित हो जाएंगे। संप्रग सरकार ने न केवल करोड़ों हिन्दुओं की भावनाओं के प्रति बल्कि सभी संप्रदायों की भावनाओं के प्रति घोर उपेक्षा दर्शायी है।प्रस्ताव-1यू.पी.ए. हर मोर्चे पर असफलदेश की जनता यू.पी.ए. सरकार के कुशासन से ऊबकर विकल्प की तलाश में है और अटल बिहारी वाजपेयी के नेतृत्व वाली एन.डी.ए. की सरकार को याद करती है। राष्ट्रीय कार्यकारिणी की यह बैठक अपने कार्यकर्ताओं का आवाहन करती है कि देश हमारी ओर आशा भरी निगाहों से देख रहा है। हम इस जिम्मेदारी का निर्वहन करने के लिए तैयार रहें।प्रस्ताव-2खेत और किसान पर आघात क्यों?आज भारतीय कृषि के सामने अन्दर और बाहर दोनों तरह से बहुआयामी चुनौतियां खड़ी हैं। देश भर में किसानों में हताशा और गुस्सा भरा है। कृषि आय में आई गिरावट, उत्पादन की बढ़ती लागत, समय पर पर्याप्त कर्ज उपलब्ध न होने, लाभप्रद मूल्यों के अभाव एवं प्राकृतिक आपदाओं और बार-बार खराब फसलों के कारण ऋणभार बढ़ता चला जा रहा है जिसकी वजह से हजारों किसानों को आत्महत्या करने पर मजबूर होना पड़ता है।50 लाख मीट्रिक टन खाद्यान्न का आयात करने का भारत सरकार का निर्णय कोई अच्छा सोचा-समझा निर्णय नहीं है। “सेज” के लिए उर्वरक भूमि का आवंटन न हो।दिल्ली में 25-26 जून को संपन्न भारतीय जनता पार्टी की राष्ट्रीय कार्यकारिणी बैठक में जहां पार्टी के पदाधिकारियों और कार्यकर्ताओं सहित देश भर में अपने वैचारिक अधिष्ठान को और मजबूती प्रदान करने पर विशेष बल दिया गया, वहीं पार्टी के व्याप को भी बढ़ाने पर मंथन हुआ। पंजाब और उत्तराखण्ड में विजय के बाद उत्तर प्रदेश और गोवा विधान सभा चुनावों में पार्टी की पराजय पर भी बहुतांश में चर्चा चली। इस महत्वपूर्ण बैठक के दौरान देश की राजनीति में चल रहे महत्वपूर्ण घटनाक्रम को अनदेखा नहीं किया जा सकता था और यही कारण था कि आपातकाल तथा राष्ट्रपति पद के चुनावों के संदर्भ में भी विचार व्यक्त किए गए। भाजपा अध्यक्ष राजनाथ सिंह ने अपने भाषणों के आरंभ में 23 जून, जो डा. श्यामा प्रसाद मुखर्जी के बलिदान दिवस के रूप में याद किया जाता है, का जिक्र किया वहीं उन्होंने 25-26 जून, 1975 को तत्कालीन इंदिरा सरकार द्वारा लगाए आपातकाल के काले दिनों पर भी टिप्पणी की। श्री राजनाथ सिंह ने स्पष्ट शब्दों में कहा कि भाजपा अपने वैचारिक अधिष्ठान के प्रति पूरी तरह प्रतिबद्ध है।भाजपा अध्यक्ष ने उत्तर प्रदेश और गोवा विधान सभा चुनावों पर टिप्पणी करते हुए कहा कि “जय-पराजय का सिलसिला तो चलता रहेगा। हमें अपनी कमजोरी को पूरी ईमानदारी के साथ दूर करने के लिए प्रयत्न करना होगा। हमें संयम की साधना, परिश्रम की पराकाष्ठा, संघर्ष की ललक, संगठन पर असीम विश्वास रखते हुए समन्वय और सामूहिकता की भाव को लेकर चलना होगा। अहम्, निजता, अनुशासनहीनता और राजनीति के उन कारणों से संगठन को बचाना होगा जिनकी वजह से समाज में राजनीति के प्रति “अनास्था” पैदा होती है। आपसी विश्वसनीयता, सामूहिकता, प्रामाणिकता, नैतिकता, उदारता और समन्वय का भाव निरंतर प्रबल होना चाहिए। हम यह कभी नहीं चाहेंगे कि हमारा दल, हमारे नेता-कार्यकर्ता अनावश्यक चर्चा के शिकार बनें।” श्री सिंह ने कार्यकर्ताओं को अपने में अनुशासित होने की सलाह दी और कहा कि “अहम् त्यागें, खुद कष्ट सहकर संगठन को मजबूत बनाने का भाव गहन करें।” इसके अलावा भाजपा अध्यक्ष ने यू.पी.ए. के तीन साल के कार्यकाल, देश की अर्थव्यवस्था की जटिलताओं, खेती की बदहाली, केंद्र सरकार की तुष्टीकरण नीति आदि की चर्चा की। उन्होंने पार्टी के संगठनात्मक आधार को विस्तृत करने के लिए आगामी तीन माह में यानी 6 जुलाई से 25 सितंबर, 2007 तक “प्रत्येक मतदान केंद्र पर भाजपा” अभियान की घोषणा की। विशेष सदस्यता अभियान के जरिए सदस्य संख्या पांच करोड़ तक पहुंचाई जाएगी।निश्चित रूप से भाजपा का यह बूथ अभियान और सदस्यता अभियान सदस्य संख्या में बढ़ोत्तरी तो करेगा ही, साथ ही यह ध्यान भी रखना होगा कि अपने वैचारिक पक्ष के प्रति भी भाजपा कार्यकर्ता के मन में रत्ती भर संशय नहीं रहे। यही बात कार्यकारिणी बैठक के बाद भाजपा के संगठन मंत्रियों की अलग से संपन्न दो दिवसीय बैठक में भी प्रमुखता से उठी और आम राय यही बनी कि वैचारिक पक्ष से किसी भी तरह का समझौता स्वीकार्य नहीं है।26 जून को वरिष्ठ भाजपा नेता और लोकसभा में विपक्ष के नेता श्री लालकृष्ण आडवाणी का विस्तृत भाषण हुआ। श्री आडवाणी ने सर्वप्रथम राष्ट्रपति चुनाव पर टिप्पणी की। उन्होंने कहा कि राष्ट्रपति भवन में ऐसा व्यक्ति होना चाहिए जो किसी एक व्यक्ति के प्रति नहीं बल्कि संविधान के प्रति निष्ठावान हो। श्री आडवाणी ने आपातकाल के दिनों का स्मरण करते हुए कहा कि लोकतंत्र पर वह आघात इसलिए हुआ था क्योंकि उस वक्त राष्ट्रपति फखरुद्दीन अली अहमद ने इंदिरा सरकार द्वारा भेजे आपातकाल के प्रस्ताव पर बिना एक शब्द बोले दस्तखत कर दिए थे। श्री आडवाणी ने उल्लेख किया कि राष्ट्रपति पद की वर्तमान कांग्रेसी उम्मीदवार प्रतिभा पाटिल न केवल “सत्तारूढ़ परिवार” के प्रति निष्ठावान हैं बल्कि वे किसी भी मौके पर प्रभावित की जा सकती हैं।उत्तर प्रदेश चुनाव के संदर्भ में श्री आडवाणी का कहना था कि यह हमारे लिए चिंता की बात होनी चाहिए। भाजपा की इस असफलता की गंभीर समीक्षा और आत्मालोचन होना चाहिए। ऐसी किसी भी बात को सहन नहीं किया जाना चाहिए जो किसी भी स्तर पर पार्टी की एकजुटता और समन्वय को कमजोर करती हो। उन्होंने केंद्रीय स्तर पर चिंतन बैठक और राज्य स्तर पर इसी तरह के सम्मेलन तुरंत आयोजित करने की सलाह दी। श्री आडवाणी ने पार्टी के परंपरागत आधार को मजबूत करने और स्वीकार्यता, भौगोलिक और सामाजिक, दोनों धरातलों पर बढ़ाने पर बल दिया। उन्होंने 6 प्रमुख विषयों—आर्थिक विकास नीति, सामाजिक विकास नीति, शिक्षा और युवा नीति, प्रशासनिक सुधार नीति, आंतरिक सुरक्षा नीति और विदेश नीति—पर पार्टी की नीति निर्धारित करने का सुझाव दिया। अपने भाषण के अंत में उन्होंने एक बार फिर कार्यकर्ताओं का आह्वान किया कि एक बार पुन: वही निश्चय और प्रखरता दर्शाएं जो 25-26, 1975 में आपातकाल के बाद पार्टी ने दर्शायी थी, जिसके कारण ही लोकतंत्र की पुनस्स्थापना हुई थी।कार्यकारिणी बैठक के अंत में वरिष्ठ नेता श्री अटल बिहारी वाजपेयी का मार्गदर्शन हुआ। श्री वाजपेयी ने आपातकाल की बत्तीसवीं वर्षगांठ और राष्ट्रपति चुनाव के संदर्भ में कहा कि “हमारा यह सुनिश्चित मत रहा है कि सभी संवैधानिक पदों की गरिमा और उनकी परस्पर नियंत्रण और संतुलन की भूमिका बनी रहनी चाहिए ताकि कोई भी अधिनायकवादी न बन सके। राष्ट्रपति पद देश का सर्वोच्च पद है, इसे राजनीति का अखाड़ा नहीं बनाना चाहिए। केंद्र में सत्तारूढ़ पक्ष जवाब दे कि उसने इस पद के लिए आम सहमति बनाने के प्रयास क्यों नहीं किए?” परमाणु संधि के संदर्भ में उन्होंने कहा कि भारत सरकार की वर्तमान नीति भारत की सर्वमान्य नीति से अलग हटती दिखाई दे रही है। यह क्या अमरीका के इशारे पर हो रहा है? भाजपा शासित प्रदेशों की सरकारों के लिए उनकी हिदायत थी कि जनता की सेवा करो और अच्छी सरकार का कीर्तिमान स्थापित करो। संघर्ष और सुशासन हमारी पहचान बने। सक्रियता सिर्फ चुनाव के समय नहीं सदा बनी रहनी चाहिए।दो दिन के चिंतन-मंथन पर दो बातें स्पष्ट रूप से सामने आईं, वे यही थीं कि विचार और विस्तार पर बहुत गंभीरता से जुटना होगा। आत्मालोचन की चर्चा ठीक है, समीक्षा होनी भी चाहिए, मगर संगठन को समग्रता के साथ चिंतन करना होगा।7

ShareTweetSendShareSend
Subscribe Panchjanya YouTube Channel

संबंधित समाचार

नूंह में शोभायात्रा पर किया गया था पथराव (फाइल फोटो)

नूंह: ब्रज मंडल यात्रा से पहले इंटरनेट और एसएमएस सेवाएं बंद, 24 घंटे के लिए लगी पाबंदी

गजवा-ए-हिंद की सोच भर है ‘छांगुर’! : जलालुद्दीन से अनवर तक भरे पड़े हैं कन्वर्जन एजेंट

18 खातों में 68 करोड़ : छांगुर के खातों में भर-भर कर पैसा, ED को मिले बाहरी फंडिंग के सुराग

बालासोर कॉलेज की छात्रा ने यौन उत्पीड़न से तंग आकर खुद को लगाई आग: राष्ट्रीय महिला आयोग ने लिया संज्ञान

इंटरनेट के बिना PF बैलेंस कैसे देखें

EPF नियमों में बड़ा बदलाव: घर खरीदना, इलाज या शादी अब PF से पैसा निकालना हुआ आसान

Indian army drone strike in myanmar

म्यांमार में ULFA-I और NSCN-K के ठिकानों पर भारतीय सेना का बड़ा ड्रोन ऑपरेशन

टिप्पणियाँ

यहां/नीचे/दिए गए स्थान पर पोस्ट की गई टिप्पणियां पाञ्चजन्य की ओर से नहीं हैं। टिप्पणी पोस्ट करने वाला व्यक्ति पूरी तरह से इसकी जिम्मेदारी के स्वामित्व में होगा। केंद्र सरकार के आईटी नियमों के मुताबिक, किसी व्यक्ति, धर्म, समुदाय या राष्ट्र के खिलाफ किया गया अश्लील या आपत्तिजनक बयान एक दंडनीय अपराध है। इस तरह की गतिविधियों में शामिल लोगों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी।

ताज़ा समाचार

नूंह में शोभायात्रा पर किया गया था पथराव (फाइल फोटो)

नूंह: ब्रज मंडल यात्रा से पहले इंटरनेट और एसएमएस सेवाएं बंद, 24 घंटे के लिए लगी पाबंदी

गजवा-ए-हिंद की सोच भर है ‘छांगुर’! : जलालुद्दीन से अनवर तक भरे पड़े हैं कन्वर्जन एजेंट

18 खातों में 68 करोड़ : छांगुर के खातों में भर-भर कर पैसा, ED को मिले बाहरी फंडिंग के सुराग

बालासोर कॉलेज की छात्रा ने यौन उत्पीड़न से तंग आकर खुद को लगाई आग: राष्ट्रीय महिला आयोग ने लिया संज्ञान

इंटरनेट के बिना PF बैलेंस कैसे देखें

EPF नियमों में बड़ा बदलाव: घर खरीदना, इलाज या शादी अब PF से पैसा निकालना हुआ आसान

Indian army drone strike in myanmar

म्यांमार में ULFA-I और NSCN-K के ठिकानों पर भारतीय सेना का बड़ा ड्रोन ऑपरेशन

PM Kisan Yojana

PM Kisan Yojana: इस दिन आपके खाते में आएगी 20वीं किस्त

FBI Anti Khalistan operation

कैलिफोर्निया में खालिस्तानी नेटवर्क पर FBI की कार्रवाई, NIA का वांछित आतंकी पकड़ा गया

Bihar Voter Verification EC Voter list

Bihar Voter Verification: EC का खुलासा, वोटर लिस्ट में बांग्लादेश, म्यांमार और नेपाल के घुसपैठिए

प्रसार भारती और HAI के बीच समझौता, अब DD Sports और डिजिटल प्लेटफॉर्म्स पर दिखेगा हैंडबॉल

  • Privacy
  • Terms
  • Cookie Policy
  • Refund and Cancellation
  • Delivery and Shipping

© Bharat Prakashan (Delhi) Limited.
Tech-enabled by Ananthapuri Technologies

  • Search Panchjanya
  • होम
  • विश्व
  • भारत
  • राज्य
  • सम्पादकीय
  • संघ
  • ऑपरेशन सिंदूर
  • वेब स्टोरी
  • जीवनशैली
  • विश्लेषण
  • लव जिहाद
  • खेल
  • मनोरंजन
  • यात्रा
  • स्वास्थ्य
  • धर्म-संस्कृति
  • पर्यावरण
  • बिजनेस
  • साक्षात्कार
  • शिक्षा
  • रक्षा
  • ऑटो
  • पुस्तकें
  • सोशल मीडिया
  • विज्ञान और तकनीक
  • मत अभिमत
  • श्रद्धांजलि
  • संविधान
  • आजादी का अमृत महोत्सव
  • लोकसभा चुनाव
  • वोकल फॉर लोकल
  • बोली में बुलेटिन
  • ओलंपिक गेम्स 2024
  • पॉडकास्ट
  • पत्रिका
  • हमारे लेखक
  • Read Ecopy
  • About Us
  • Contact Us
  • Careers @ BPDL
  • प्रसार विभाग – Circulation
  • Advertise
  • Privacy Policy

© Bharat Prakashan (Delhi) Limited.
Tech-enabled by Ananthapuri Technologies