नई दिल्ली, (हि.स.)। इलेक्ट्रॉनिक्स एवं आईटी मंत्रालय ने घोषणा की है कि 10 लाख नागरिकों को निःशुल्क आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) प्रशिक्षण दिया जाएगा। ग्राम स्तरीय उद्यमियों (वीएलई) को इस प्रशिक्षण में प्राथमिकता दी जाएगी। यह निर्णय डिजिटल इंडिया के 10 वर्ष पूरे होने के उपलक्ष्य में लिया गया है और इससे ग्रामीण क्षेत्रों में डिजिटल सशक्तिकरण को बढ़ावा मिलेगा।
केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स एवं आईटी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने बुधवार को नई दिल्ली के यशोभूमि कन्वेंशन सेंटर में आयोजित डिजिटल इंडिया उत्सव के दौरान इसकी घोषणा की। उन्होंने कहा कि सीएससी नेटवर्क ने देश के लगभग 90 प्रतिशत गांवों तक पहुंच बनाई है। मंत्री ने ग्रामीण उद्यमियों की प्रेरक कहानियों का उल्लेख किया, जिन्होंने डिजिटल कौशल हासिल कर अपने समुदायों को सशक्त बनाया है। उन्होंने यह भी बताया कि अब समय आ गया है कि सभी वीएलई को आईआरसीटीसी सेवाओं का उपयोग करने के लिए प्रोत्साहित किया जाए।
मंत्री जितिन प्रसाद ने डिजिटल अंतराल को समाप्त करने में सीएससी की महत्वपूर्ण भूमिका पर जोर दिया। उन्होंने बताया कि 2014 में केवल 83 हजार सीएससी केंद्र थे, जबकि आज उनकी संख्या 5.5 लाख से अधिक हो गई है। उन्होंने यह भी कहा कि महिलाओं के लिए सशक्तिकरण के नए आयाम स्थापित किए जा रहे हैं, जिसमें 74 हजार से अधिक महिला वीएलई का योगदान शामिल है।
2015 में हुई थी डिजिटल इंडिया की शुरुआत
उल्लेखनीय है कि डिजिटल इंडिया कार्यक्रम की शुरुआत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2015 में की थी, जिसका उद्देश्य तकनीक को हर भारतीय के लिए सुलभ बनाना था। पिछले एक दशक में इस पहल ने भारत को दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी डिजिटल अर्थव्यवस्था बना दिया है।
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