उत्तर प्रदेश

नोएडा: पति-पत्नी ने घर में चलाया पोर्न वीडियो का धंधा, साइप्रस की कंपनी से जुड़े तार

नोएडा का ये कपल पोर्न वीडियो बनाकर अब तक 22 करोड़ रुपए से अधिक की कमाई कर चुका है। पोर्न वीडियो बनाकर ये साइप्रस की कंपनी Xhamster और Stripchat पोर्न वेबसाइट को बेच देते थे।

Published by
Kuldeep singh

फॉरेन फंडिंग के एक मामले की जांच कर रही केंद्रीय एजेंसी प्रवर्तन निदेशालय के होश तब उड़ गए, जब उन्होंने नोएडा स्थित एक घर में छापा मारा। घर के अंदर का नजारा देखते ही सारा माजरा समझ आ गया। अंदर एक शानदार स्टूडियो था, जहां पर कुछ मॉडल्स न्यूड होकर पोर्न वीडियो की शूटिंग कर रही थीं। एजेंसी को समझते देर नहीं लगी कि ये अवैध फंडिंग कहां से और कैसे हो रही थी।

नवभारत टाइम्स की रिपोर्ट के अनुसार, जिस घर में पोर्न वीडियो की शूटिंग की जा रही थी, ये किशोर और नीलू श्रीवास्तव नाम के दंपत्ति का है। जो कि अपने घर में पोर्न स्टूडियो चला रहे थे। अपने इस गोरख धंधे को चलाने के लिए बकायदा इन्होंने एक कंपनी बना रखी है। इसका नाम है सुब्दिगी वेंचर्स प्राइवेट लिमिटेड। इनका कहना था कि उनकी कंपनी एडवर्टाइजिंग, मार्केटिंग की फील्ड में काम करती है। लेकिन, छापेमारी के बाद असली धंधे का खुलासा हुआ।

छापेमारी के दौरान जांच एजेंसी को कुछ मॉडल्स न्यूड वीडियो शूटिंग कराती भी दिखीं। इनके पास से 8 लाख रुपए कैश भी बरामद किए गए।

कैसे होता था काम

ईडी को पता चला है कि आरोपी निदेशक पति-पत्नी एडल्ट वीडियो शूट करवाने के बाद उसे साइप्रस की टेक्नियस लिमिटेड को बेच देते थे। टेक्नियस लिमिटेड कंपनी की बात करें तो ये Xhamster और Stripchat पोर्न वेबसाइट का संचालन करती है। कंपनी को वीडियो बेचने के बदले होने वाली आय का 25% वीडियो शूट करने वाली मॉडल्स को दे दिया जाता था, जबकि, 75 फीसदी हिस्सा ये दंपत्ति अपने पास रखते थे। इसी गोरखधंधे से ये अब तक 22 करोड़ से अधिक की कमाई कर चुके हैं।

कैसे हुआ खुलासा

इस गोरखधंधे का खुलासा उस वक्त हुआ, जब सुब्दिगी वेंचर्स प्राइवेट लिमिटेड कंपनी के अकाउंट में लगातार विदेशों से करोड़ों रुपए आ रहे थे। विदेशी विनियमन पर नजर रख रहे प्रवर्तन निदेशालय को कुछ FEMA नियमों के उल्लंघन का शक हुआ। इसके बाद कंपनी ने छापेमारी की तो अलग ही खुलासा हुआ। कंपनी के डायरेक्टर्स के अकाउंट में विदेशों से 15.66 करोड़ रुपए भेजे गए थे। इसके अलावा नीदरलैंड की एक कंपनी को भी 7 करोड़ रुपए भेजे गए थे।

एनसीआर में कई लोग निशाने पर

इस मामले के खुलासे के बाद पुलिस के निशाने पर एनसीआर के कई लोग आ गए हैं। हालांकि, अभी पुलिस इस मामले की छानबीन में लगी हुई है।

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