प्रतीकात्मक तस्वीर
कर्नाटक के बेंगलुरू में वर्ष 2020 में इस्लामिक कट्टरपंथियों और वामपंथियों द्वारा किए गए दंगे की जांच कर रही NIA के मामले में हस्तक्षेप करने से सुप्रीम कोर्ट ने आज (13 फरवरी 2025) इंकार कर दिया है।
समाचार एजेंसी एएनआई की रिपोर्ट के अनुसार, सुप्रीम कोर्ट ने जमानत की मांग कर रही वामपंथियों की स्टूडेंट विंग SDPI से जुड़े कई आरोपियों के मामले पर आज सुनवाई की। इसी दौरान सुप्रीम अदालत ने ये फैसला सुनाया।
इस मामले में सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने देश में यूएपीए मामले की सुनवाई के लिए विशेष अदालतों की कमी का हवाला दिया और हाई कोर्ट और राज्य सरकारों को तीन माह के भीतर इस तरह की अदालतों का गठन करने का निर्देश दिया है। इसके साथ ही कोर्ट ने ये भी कहा कि इस मामले की सुनवाई में देरी की एक वजह अदालतों की कमी है।
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