उत्तर प्रदेश

संभल विवाद के बीच प्रशासन ने जिले में बाहरी लोगों के प्रवेश प्रतिबंध को 10 दिसंबर तक बढ़ाया

Published by
Kuldeep singh

उत्तर प्रदेश के संभल स्थित कथित जामा मस्जिद के सर्वे के दौरान मुस्लिम कट्टरपंथियों की हिंसा के बाद जिले में बाहरी लोगों के प्रवेश पर लगाए गए प्रतिबंध को प्रशासन ने 10 दिसंबर तक के लिए बढ़ा दिया है। आज ही जिला प्रशासन के द्वारा बाहरी लोगों के प्रवेश पर लगाया गया प्रतिबंध समाप्त हो रहा था। जिसे बढ़ाया गया है।

इस मौके का फायदा उठाकर समाजवादी पार्टी अपने 15 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल को संभल भेजने वाली थी, लेकिन ऐन मौके पर प्रशासन ने संभल में बाहरियों के प्रवेश पर लगे बैन को बढ़ा दिया। इससे सपा का एजेंडा फेल हो गया है। इसके साथ ही जिले में निषेधाज्ञा को भी 31 दिसंबर तक के लिए बढ़ाया गया है। लखनऊ में डीएम राजेंद्र पेंसिया ने कहा, “शांति और व्यवस्था बनाए रखने के लिए, जिले में भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता की धारा 163 को लागू करने की अवधि को 31 दिसंबर तक बढ़ा दिया गया है।”

क्या है पूरा मामला

गौरतलब है कि उत्तर प्रदेश के संभल स्थित कथित जामा मस्जिद के सर्वे के दौरान मुस्लिम कट्टरपंथियों ने जमकर उत्पात मचाया था। पुलिस प्रशासन की सख्ती के आगे प्रदर्शनकारियों की एक नहीं चली। सर्वे पूरा कर लिया गया था। विष्णु शंकर जैन ने संभल की कथित मस्जिद को हरिहर मंदिर बताते हुए कहा कि 1526 में मुगल आक्रान्ता बाबर ने मंदिर को तोड़कर उसके स्थान पर मस्जिद को बनाने की कोशिश की थी। ये भारतीय पुरातत्व विभाग द्वारा संरक्षित है, जिस पर किसी का कोई अतिक्रमण नहीं हो सकता है।

29 नवंबर को सिविल जज सीनियर डिवीजन संभल चंदोसी की कोर्ट में इसकी रिपोर्ट पेश की गई। बाद में इस मामले में सुप्रीम कोर्ट ने मुस्लिम पक्ष की याचिका पर सुनवाई करते हुए निचली अदालत को सुनवाई करने से मना कर दिया था। साथ ही कहा था कि अभी सर्वे रिपोर्ट ने खोली जाय।

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