उत्तराखंड

हल्द्वानी बनभूलपुरा अतिक्रमण कांड: अभियुक्तों की कोर्ट पैरवी पर अरशद मदनी गदगद, वक्फ बोर्ड पर केंद्र को कोसा

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उत्तराखंड ब्यूरो

हल्द्वानी के बहुचर्चित बनभूलपुरा अतिक्रमण कांड के अभियुक्तों के हाई कोर्ट में पैरवी करने के मामले को अरशद मदनी ने जायज बताते हुए उसकी शान में कसीदे पढ़े। पिछले दिनों नई दिल्ली में हुए जमीयत उलेमा ए हिंद के महासम्मेलन में संगठन के प्रमुख अरशद मदनी ने कहा कि हमारे द्वारा मुंबई से वकील भेजे गए और उन्होंने पचास लोगों की जमानत करवाई। इसके साथ ही मदनी ने वक्फ संशोधन बिल को लेकर भी केंद्र सरकार को कोसा।

नई दिल्ली के इंदिरा गांधी इंडोर स्टेडियम में जमयित उलेमा ए हिंद के महासम्मेलन में अरशद मदनी ने वक्फ संशोधन बिल पर केंद्र सरकार को जमकर कोसा और चंद्रबाबू न्यायडू और नीतीश कुमार से मोदी सरकार पर इस इस बिल की वापसी के लिए दबाव बनाने को भी कहा। उन्होंने ये भी कहा कि बुल्डोजर ने 95 प्रतिशत मकान मुसलमानो के ही गिराए है। इस भाषण के दौरान अरशद मदनी ने हल्द्वानी बनभूलपुरा अतिक्रमण हटाओ कांड को मस्जिद हटाने की कारवाई बताया और कहा कि मस्जिद तोड़ दी गई। अरशद मदनी का ये वीडियो सोशल मीडिया में खूब वायरल हो रहा है।

वीडियो में अरशद मदनी बोल रहे हैं कि पुलिस ने गंभीर धाराओं में 101 लोगों को गिरफ्तार किया। छ लोग मारे गए, हमने अल्लाह की मदद से मुंबई से वकील बुलवाया और दिल्ली से वकील भेजे और पांच पेशियों में से तीन में वो नैनीताल हाई कोर्ट में पेश हुए और वो अपना मेहनताना भी पूरा लेता था। अरशद मदनी कहते हैं कि ऐसा हिंदुस्तान में पहली बार हुआ कि हमने इस मामले की पैरवी कराई और 50 लोगों की जमानत करवाई जिनमें 6 औरतें भी थीं।

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उल्लेखनीय है कि वीडियो में मदनी, मस्जिद को गिराने की बात कर रहे हैं। जबकि नैनीताल जिला प्रशासन ने नजूल की सरकारी जमीन से जब 8 फरवरी को अतिक्रमण हटाया और उसके बाद, इसी मुस्लिम बाहुल्य क्षेत्र में उन्मादी भीड़ ने पथराव किया आगजनी की थी। जिसमें, सौ से अधिक पुलिस कर्मी भी घायल हुए जिनमें महिला पुलिस भी थी। इसके अलावा कई पत्रकार भी घायल हुए उनकी मोटर बाइक्स, स्कूटर जला दिए गए।

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अभी ये मामला हाई कोर्ट में चल रहा है। जिला प्रशासन इसे अतिक्रमण हटाओ अभियान बताता है, जबकि जमीयत इसे दंगा बताता है। जमीयत उलेमा ए हिंद के मौलानाओं ने हल्द्वानी की घटना के बाद यहां दौरा किया था और अभियुक्तों के लिए कोर्ट में निशुल्क पैरवी की बात कही थी।

 

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