विश्व

मैलोनी ने दिखाया Hamas के हमदर्द पाकिस्तानी Imam Zulfikar Khan को इटली से बाहर का रास्ता

Published by
WEB DESK

इस्राएल हमास युद्ध पर इस इमाम ने पिछले साल नवंबर से लेकर इस साल अप्रैल तक एक से एक चुभने वाले आपत्तिजनक वीडियो पोस्ट किए। वीडियो में इस इमाम ने अमेरिका, जर्मनी, फ्रांस, ब्रिटेन और इटाली के नागरिकों को अपवित्र जायोनीस्ट बताया था। उस इमाम की जांच करने पर इटली प्रशासन ने पाया कि उसके सूत्र इस्लामी आतंकवादी गुटों से जुड़े लोगों से जुड़ते थे।


इटली की सरकार ने कड़ा कदम उठाते हुए उस इमाम को देश से बाहर कर दिया है जो इटली में रहकर की बुराई करता था और हमास के कसीदे पढ़ता है। यह इमाम पाकिस्तान से इटली आकर बसा था, लेकिन इसने इटली के ​ही विरुद्ध जहर उगलने में हद कर रखी थी। वहां की मैलोनी सरकार उस इमाम को पहले भी संकेत कर चुकी थी कि अपनी जहरीली जबान को लगाम दे, लेकिन वह नहीं माना। आखिरकार सरकार ने उसे देश से बाहर कर दिया। यह इटली में अराजकता फैला रहे कट्टरपंथियों के लिए एक बहुत सख्त संदेश माना जा रहा है। उस इमाम को देश से ही निकाला गया है बल्कि उसका वहां रहने का परमिट भी खत्म करने का आदेश दिया गया है।

पाकिस्तान से आया 54 साल का मजहबी उन्मादी इमाम जुल्फिकार खान अपनी तकरीरों में हमास का खुलकर समर्थन करता था और जिस देश में पनाह लिए हुए था उस यानी इटली को भर—भरकर बुरा—भला कहता था। लेकिन आखिरकार मैलोनी की सरकान ने सख्त कदम उठाते हुए गत 8 अक्तूबर को उसके देश निकाले का फरमान जारी कर दिया। 1995 से जुल्फिकार इटली में रह रहा था। उसने वहां बसने का परमिट भी ले लिया था, लेकिन अब वह निरस्त किया जा चुका है। सरकार की तरफ से जारी हुआ आदेश कहता है, सरकार 2023 से देख रही है यानी पिछले साल से जुल्फिकार खान की हरकतों पर नजर रखती आ रही थी, उसके शब्दों में कट्टरता और कट्टरपंथ को बढ़ावा देने की गंध आती थी। बयान पश्चिम को दुत्कारने, यहूदी को बुराभला और महिलाओं को अपमानित करने वाले थे।

लेकिन इससे आगे बढ़कर जुल्फिकार ने जब उस देश की ही बेइज्जती की जिसमें वह सालों से रहता था, तो उस देश के लिए यह बर्दाश्त से बाहर हो गया। मैलोनी की सरकार यह हजम नहीं कर पाई कि उस इमाम की इतनी जुर्रत कैसे हो गई कि वह उस इटली को ही गाली देने लगा, जिसे उन्होंने अपने यहां शरण दी।

मजहबी उन्मादी इमाम जुल्फिकार खान

इसी जुल्फिकार ने इटली के मुसलामानों को सरकार को टैक्स देना बंद करने को उकसाया था। वह कहता था कि मुस्लिम समुदाय अपने अंदर से ही सभी रिसोर्स जोड़े। सरकार को टैक्स देकर उसके सहारे न रहे। इसी तरह उसने कहा कि समलैंगिकता एक बीमारी है जिसका इलाज कराया जाना चाहिए। इस्राएल हमास युद्ध पर इस इमाम ने पिछले साल नवंबर से लेकर इस साल अप्रैल तक एक से एक चुभने वाले आपत्तिजनक वीडियो पोस्ट किए। वीडियो में इस इमाम ने अमेरिका, जर्मनी, फ्रांस, ब्रिटेन और इटली के नागरिकों को अपवित्र जायोनीस्ट बताया था।

उस इमाम की जांच करने पर इटली प्रशासन ने पाया कि उसके सूत्र इस्लामी आतंकवादी गुटों से जुड़े लोगों से जुड़ते थे। इसी तरह, कहते हैं गत मई माह में जुल्फिकार खान ने एक मस्जिद में हमास की बढ़ाई करते हुए इस्राएल को खूब खरीखोटी सुनाई थी। हमास को वह आतंकवादी संगठन नहीं मानता। उसका कहना है कि वह तो बस अपने क्षेत्र की हिफाजत ही कर रहा है।

Share
Leave a Comment