इस्राएली सेना ने खुफिया जांच शुरू की है। पता लगाया जा रहा है कि जिहादी सरगना हवाई हमले में सच में ’72 हूरों के पास’ जा पहुंचा है? इस्राएल के एक मशहूर पत्रकार बेन कैस्पिट का कहना है कि इस्राएली सेना अपनी गुप्त मशीनरी से इस बात की जांच करा रही है।
इस्राएल के लेबनान पर तेज होते हमलों के बीच इस प्रकार की अटकलों का बाजार गर्म है कि हमास का जिहादी सरगना याह्या सिनवार संभवत: इस्राएल वायुसेना के पिछले हवाई हमलों में ढेर हो चुका है। इसके पीछे वजह हैं कुछ ऐसे संकेत जो इस बात का सही ठहराते हैं और है उसकी कहीं कोई खोज—खबर न लग पाना। ये अटकलें इस्राएल के अखबारों के रास्ते आम जनता के बीच पहुंच चुकी हैं। अब सेना ने गुप्त तरीके इस बात की जांच शुरू की है कि क्या सच में बिल में दुबका ‘हमासी चूहा’ मारा गया है या फिर जिहादी गुट ने ऐसी खबरें उड़वाई हैं।
जिहादी हमास के हत्यारे सरगना की अगर सच में मौत हो चुकी है, तो किसी सुरंग में छापे के दौरान इस संबंध में सुराग क्यों नहीं मिला? यह सवाल भी इस्राएल की सेना के सामने है। याह्या सिनवार को लेकर जिस हवाई हमले में उसके मारे जाने की बात है तो उसके बाद भी इस्राएली सैनिकों ने इलाके में पूरी छानबीन की थी, लेकिन इस बात की पुष्टि नहीं हो पाई थी। ऐसे में सवाल है कि अखबारों में इस बात के आने का स्रोत क्या है?
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क्या हमास के हत्यारों ने ही तो गलतफहमी पैदा करने के लिए यह बात नहीं उड़वाई? कारण यह कि पिछले करीब छह माह से वह हत्यारा सरगना सुरंगों में दुबका बैठा था और बाहर निकलता भी था तो महिलाओं का बुर्का पहनकर। महीनों से उसने फोन से किसी हमासी से बात नहीं की थी, सिर्फ चिट्ठी के माध्यम से वह किसी से संवाद कर रहा था। इसके पीछे यह डर था कि कहीं कोई मीडिया उपकरण इस्राएलियों ने हैक न कर रखा हो।
अभी दो दिन पहले भी इस्राएल के मीडिया में यह अटकल जोर—शोर से उठी थी कि याह्या मारा गया है। इसके बाद इस्राएली सेना ने खुफिया जांच शुरू की है। पता लगाया जा रहा है कि जिहादी सरगना हवाई हमले में सच में 72 हूरों के पास जा पहुंचा है? इस्राएल के एक मशहूर पत्रकार बेन कैस्पिट का कहना है कि इस्राएली सेना अपनी गुप्त मशीनरी से इस बात की जांच करा रही है।
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मीडिया में आए अभी तक के संकेतों के अनुसार, हत्यारा सरगना इस्राएली सेना के गाजा में हुए हाल के ऑपरेशन में ढेर हुआ है। लेकिन इसके साथ ही उक्त अखबार को यह अंदेशा भी है कि जैसे पहले कई बार उसके मरने की खबर उड़ाई गई थी वैसे ही कहीं इस बार भी तो इसके जरिए कोई झांसा तो नहीं दिया जा रहा है।
यह याह्या ही है जिसे 7 अक्तूबर को इस्राएल की आम जनता पर किए जिहादी हमले का साजिशकर्ता बताया गया है। उस दिन इस्राएल के 12 सौ से ज्यादा मासूमों की हत्या की गई थी और 250 से ज्यादा को बंधक बनाकर इस्लामी हत्यारे गाजा ले गए थे। वहां इनमें से 97 के साथ अब भी पशुओं जैसा बर्ताव किया जा रहा है। इन बंधकों को अंधेरी सुरंगा में कैद करके रखा गया है।
इन रिपोर्ट के बीच इस्राएल की एक खबरिया वेबसाइट का कहना है कि इस्राएल की आंतरिक गुप्तचर संस्था ‘शिन बेट’ इन अटकलों पर यकीन नहीं कर रही है। उसके अनुसार, जिहादी हत्यारा सरगना याह्या जिंदा है और किसी सुरंग में दुबका बैठा है। इसलिए सेना ने भी हाल में बयान दिया है कि इस मौके पर याह्या के जिंदा होने या मारे जानते की पुष्टि नहीं की जा सकती है।
दिसम्बर 2023 की एक रिपोर्ट भी याह्या के ‘मरने’ या बुरी तरह ‘जख्मी’ होने की बात करती थी, जबकि ऐसी रिपोर्ट भी थीं कि उसने खुद को सबसे अलग कर लिया है और अब वह सरगना भी नहीं रहा है। लेकिन वह जिहादी हमास की एक चाल निकली थी और पता चला था कि उसने जानबूझकर खुद को सबसे अलग रखा हुआ था।
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