नई दिल्ली: गुरुवार को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल से जुड़े वित्तीय घोटाले के सिलसिले में कोलकाता की कई जगहों पर तलाशी अभियान चलाया। इस दौरान ईडी ने अब तक चार जगहों पर छापेमारी की है। जिसमें आरजी कर अस्पताल के पूर्व प्रिंसिपल डॉ. संदीप घोष के पिता सत्य प्रकाश का आवास भी शामिल है। इसमें अन्य दो स्थान लेकटाउन और तालाक्षेत्र में स्थित है। जिसमें मेडिकल सप्लायर के कार्यालय और अस्पताल को दवाएं आपूर्ति करने वाले एक मेडिकल आपूर्ति विक्रेता के आवास पर छापेमारी की गई।
सीबीआई आर्थिक खुफिया एजेंसी के साथ इस मामले की जांच में जुटी है। बुधवार को जांच के दौरान अख्तर अली से भी संदीप घोष द्वारा वेंडरों के चयन में कथित पक्षपात को लेकर पूछताछ की गई। अली ने बताया की घोष ने करोड़ों रुपए के पैकैज अयोग्य लोगों को दिये थे।
गौरतलब है कि अली ने 14 जुलाई, 2023 को राज्य सतर्कता आयोग को एक पत्र लिखा था। जिसमें उसने आरोप लगाया था कि संदीप घोष और कुछ अन्य लोग गैर-कानूनी गतिविधियों में शामिल है। अली ने यह भी दावा किया था कि पिछले पांच-छह महीनों से अस्पताल का बायोमेडिकल कचरा संभालने वाली नोडल एजेंसी को भी उचित मात्रा में कचरा नहीं मिल रहा है। इस मामले की जांच में अली के बयान महत्वपूर्ण हैं।
इसी के साथ ईडी संदीप घोष और उनकी पत्नी संगीता घोष कि संपत्तियों की भी जांच कर रही हैं। ईडी को संदेह है कि यह संपत्तियां गैर-कानूनी कार्यों से कमाएं रुपयों की हो सकती हैं। इसमें कम से कम सात संपत्तियां शामिल हैं। घोष और उनके रिश्तेदारों व सहयोगियों के आवासों पर तलाशी के दौरान इन संपत्तियों से संबंधित दस्तावेज मिले।
एजेंसी ने कहा कि, संगीता घोष जोकि आरजी कर मेडिकल कॉलेज में सहायक प्रोफेसर के पद पर तैनात थीं, उन्होंने राज्य सरकार की मंजूरी के बिना दो अचल संपत्तियां खरीदी थी। संगीता घोष के अनुसार उनके पति निर्दोष है।
सीबीआई ने आरजी कर मेडिकल कॉलेज के पूर्व प्रिंसिपल संदीप घोष पर वित्तीय कदाचार के संबंध में भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की धारा 7 के साथ-साथ आपराधिक साजिश, धोखाधड़ी और बेईमानी का आरोप लगाया था। जिसके बाद 2 सितंबर को घोष को गिरफ्तार कर लिया गया था।
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