कोलकाता के रेप- मर्डर केस में शुरुआत से ही सवालों के घेरे में रहे आरजी कर मेडिकल कॉलेज के पूर्व प्रिंसिपल संदीप घोष पर एक और बड़ा आरोप लगा है। समाचार वेबसाइट आजतक की खबर के अनुसार आरजी कर मेडिकल कॉलेज के पूर्व उपाधीक्षक अख्तर अली ने संदीप घोष पर अवैध गतिविधियों में शामिल होने का आरोप लगाया है। उनके अनुसार घोष वित्तीय अनियमितता, लावारिस लासों को बेचने से लेकर बंग्लादेश में बॉयोमेडिकल अपशिष्ट और मेडिकल उपकणों की तस्करी में वह शामिल थे। इसके बाद संदीप घोष के खिलाफ आईपीसी की धारा 420, 120बी, और भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम 1988 की धारा 7 के तहत मामला दर्ज किया गया है।
अख्तर अली के अनुसार संदीप घोष के खिलाफ शिकायत करने के कारण 2023 में उनका तबादला कर दिया गया। उन्होंने राज्य सर्तकता आयोग और राज्य स्वास्थ्य विभाग को मामले के सम्बन्ध में जाँच रिपोर्ट भेजी थी। रिपोर्ट पर कोई कार्रवाई नहीं की गई। साथ ही उसी दिन उनका और जाँच समिति के दो अन्य सदस्यों का तबादला कर दिया गया।
अख्तर अली ने दावा किया कि घोष स्टूडेंट्स को रिश्वत लेकर पास करते थे। संदीप घोष ने डाक्टरों के विरोध के दोरान अपने पद से इस्तीफा दे दिया था। जिसके तुरन्त बाद ही उन्हें कोलकाता के मेडिकल कॉलेज में नियुक्ति कर दिया गया था। तब से वह संदेह के घेरे में बने हुए हैं।
हर बीते दिन के साथ कोलकाता रेप- मर्डर केस अलग मोड़ ले रहा है। इन आरोपों के साथ संदीप घोष की मुश्किलें और बढ़ गई हैं। सीबीआई अब तक उनसे 64 घंटे की पूछताछ कर चुकी है।
गौरतलब है कि आरजी कर मेडिकल कॉलेज में 9 अगस्त को एक महिला डॉक्टर से दुष्कर्म के बाद उसकी हत्या कर दी गई थी। मेडिकल कॉलेज प्रशासन ने पीड़ित परिवार को पहले आत्महत्या का केस बताया था। हाई कोर्ट में यह मामला पहुंचा और कोर्ट ने सीबीआई जांच का निर्देश दिया।
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