आज पूरे दिन नीमच शहर और चिकित्सा जगत पश्चिम बंगाल में घटित दर्दनाक घटना से आक्रोशित रहा। इस घटना के विरोध में और डॉक्टर बिटिया की आत्मा की शांति के लिए, शाम को नीमच के व्यस्ततम भारत माता चौराहे (चौराहा 40) पर एक शांति सभा का आयोजन किया गया। इस सभा का उद्देश्य जन चेतना और जागरूकता फैलाना था, साथ ही अपराधियों को त्वरित जांच के बाद फांसी की सजा दिलाने की मांग भी उठाई गई।
शांति सभा में नीमच के प्रमुख समाजों के पदाधिकारी, सामाजिक कार्यकर्ता, और विभिन्न राजनीतिक दलों के नेता एकत्रित हुए और उन्होंने अपनी श्रद्धांजलि अर्पित की। डॉ. राजेंद्र ऐरन ने कहा कि कलकत्ता के सबसे पुराने मेडिकल कॉलेज में एक छात्रा के साथ रात 3 से 6 बजे के बीच सामूहिक बलात्कार किया गया और फिर उसकी हत्या कर दी गई। कुछ लोगों ने इस घटना को आत्महत्या का मामला बताकर दबाने की कोशिश की, लेकिन कॉलेज के कुछ डॉक्टरों ने लड़की की हालत देखकर बलात्कार की आशंका जताई, जिसके बाद पोस्टमार्टम हुआ।
डॉ. ऐरन ने कहा कि वहां ड्रग्स और सेक्स रैकेट चल रहा था, और वह लड़की इसका पर्दाफाश करना चाहती थी, जिसके कारण उसे इस बर्बरता का शिकार बनाया गया। इस शांति सभा के माध्यम से नीमच के लोगों ने न केवल मृत डॉक्टर को श्रद्धांजलि दी, बल्कि न्याय की मांग को भी जोरदार तरीके से उठाया।
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