हल्द्वानी के बनभूलपुरा थाना क्षेत्र से अपहृत दो नाबालिग लड़कियों के मामले का पुलिस ने आज खुलासा कर दिया। पुलिस ने दोनों लड़कियों को उत्तर प्रदेश से बरामद किया है। इस घटना के विरोध में हिंदुत्वनिष्ठ संगठनों ने पुलिस थाने में प्रदर्शन भी किया था। इस मामले में पुलिस ने पांच मुस्लिम आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है जिसमे एक 16 वर्षीय नाबालिग किशोर सहित एक महिला भी शामिल है।
घटना का विवरण
एसएसपी प्रहलाद मीना ने जानकारी देते हुए बताया कि 21 जून 2024 को श्रीमती राधा गोस्वामी निवासी वार्ड नंबर 14, जवाहर नगर ने अपनी 15 वर्षीय बेटी और किरायेदार की 12 वर्षीय बेटी की गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई थी। दोनों लड़कियां 20 जून 2024 की शाम 7 बजे से लापता थीं। इस सूचना पर तत्काल बनभूलपुरा थाना में एफआईआर संख्या 134/2024 धारा 365 आईपीसी के तहत मामला दर्ज किया गया और विवेचना उपनिरीक्षक विनोद घई को सौंपी गई।
पुलिस द्वारा की गई कार्यवाही
मामले की संवेदनशीलता को देखते हुए एसएसपी प्रहलाद नारायण मीणा ने चार टीमें गठित कीं। टीमों ने गुमशुदा नाबालिग लड़कियों के रिश्तेदारों और संभावित स्थानों पर तलाश शुरू की। सीसीटीवी फुटेज से पता चला कि नाबालिग लड़कियां एक मुस्लिम लड़के के साथ ई-रिक्शा में बैठकर मंगलपडाव की तरफ जा रही थीं। लड़के की पहचान 16 वर्षीय मुस्लिम किशोर के रूप में हुई, जो जवाहर नगर का निवासी है।
पुलिस कार्रवाई का परिणाम
पुलिस ने गहन पूछताछ और मोबाइल लोकेशन के आधार पर बदायूं, बरेली, काशीपुर, मुरादाबाद और दिल्ली में तलाश की। अंततः, मुखबिर की सूचना पर दोनों अपहृत लड़कियों को मुजफ्फरनगर के रेलवे स्टेशन से बरामद कर लिया गया। लड़कियों के साथ आरोपी मुस्लिम किशोर को भी पुलिस ने संरक्षण में ले लिया।
आरोपी गिरफ्तार
इस मामले में निशा उर्फ नूरीन, उजैर उर्फ आसिफ, अब्दुल समी उर्फ भोला और आमिल एवं एक नाबालिग मुस्लिम किशोर को पुलिस ने गिरफ्तार किया। नूरीन और उसके पति उजैर ने दोनों नाबालिग लड़कियों को अपने घर में छुपाया था। पूछताछ में पता चला कि आमिल ने उन्हें भगाने के लिए आर्थिक सहायता भी प्रदान की थी।
आगे की कार्रवाई
एसएसपी प्रहलाद मीना ने बताया कि पुलिस ने धारा 368/120 बी आईपीसी के तहत आरोपियों को हिरासत में लिया है और आगे की जांच जारी है। पुलिस प्रशासन इस मामले में और भी सख्त कार्रवाई करने की योजना बना रहा है ताकि भविष्य में ऐसी घटनाएं न हो सकें। बता दें कि यह घटना समाज में कानून और सुरक्षा के प्रति जागरूकता की आवश्यकता को पुनः स्पष्ट करती है। पुलिस की त्वरित कार्रवाई और प्रभावी जांच ने इस मामले को सुलझाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
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