अयोध्या में श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र के महामंत्री चम्पत राय ने राम मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा समारोह में राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मू को आमंत्रित न किए जाने के बयान को मनगढ़ंत बताया है। साथ ही कहा है कि महामहिम के साथ-साथ पूर्व राष्ट्रपति राम नाथ कोविद को और अनुसूचित जाति, जनजाति के तमाम साधु संन्यासी व गृहस्थजनों को भी प्राणप्रतिष्ठा के पावन अवसर पर आमंत्रित किया गया था।
विदित हो कि कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने अपने एक भाषण में कहा है कि-श्री राम जन्मभूमि मंदिर के प्राण प्रतिष्ठा आयोजन में भारत की माननीय राष्ट्रपति महोदया को आदिवासी होने के कारण आमंत्रित नहीं किया गया। चंपत राय ने कहा है कि वे राहुल गांधी जी को स्मरण कराना चाहेंगे कि भारत की राष्ट्रपति महोदया आदरणीया द्रोपदी मूर्मू जी एवं पूर्व राष्ट्रपति श्री रामनाथ कोविद जी दोनों को श्री रामजन्मभूमि मन्दिर में रामलला के नूतन विग्रह की प्राण प्रतिष्ठा के पावन अवसर पर आमन्त्रित किया गया था।
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श्री राम जन्मभूमि मंदिर में प्राण प्रतिष्ठा के अवसर पर अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति और अन्य पिछड़ा वर्ग समाज से जुड़े हुए संत महापुरुष , गृहस्थजन और जीवन के भिन्न भिन्न क्षेत्रों में यश प्राप्त करने वाले, भारत का गौरव बढ़ाने वाले सज्जनों को आमंत्रित किया गया था, मन्दिर में सेवारत श्रमिक भी कार्यक्रम में सम्मिलित रहे।
अल्पसंख्यक वर्ग के लोग भी उपस्थित रहे , इतना ही नहीं प्राण प्रतिष्ठा पूजन विधि के समय मंदिर के गूढ़ मण्डप में अनुसूचित जाति , जनजाति व अति पिछड़ा वर्ग के गृहस्थों को पूजन करने का भी अवसर मिला। तीन मास पूर्व सम्पन्न हुए कार्यक्रम के बारे में तथ्यों की खोज बीन किए बिना ही, असत्य, निराधार व भ्रामक भाषण समाज में भेदभाव पैदा कर सकता है। भाषण के ये अंश हमारे लिए गम्भीर आपत्ति जनक है।
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