‘सनातन धर्म’ वो वट वृक्ष है, जिससे सभी जुड़े हुए हैं। इसे यूं ही महान नहीं कहते हैं, इससे जो एक बार जुड़ता है वो बस सनातन धर्म का ही होकर रह जाता है। ऐसा ही एक मामला उत्तर प्रदेश के प्रयागराज से आया है, जहां इलाहाबाद विश्वविद्यालय से संबद्ध CMP डिग्री कॉलेज के प्रोफेसर एहसान अहमद ने सनातन धर्म में घर वापसी कर ली है।
रिपोर्ट के मुताबिक, अहसान अहमद पूरी कानूनी प्रक्रिया के तहत अपनी घर वापसी कर रहे हैं। उन्होंने अपना नाम बदलकर अनिल पंडित रख लिया है। वह सीएमपी डिग्री कॉलेज में इंग्लिश डिपार्टमेंट में एसोसिएट प्रोफेसर हैं। गुरुवार को रिकॉर्ड में अपना नाम बदलवाने के लिए वो कलेक्ट्रेट पहुंचे और वहां एडीएम प्रशासन से मुलाकात कर एप्लीकेशन दिया। इसके बाद माना जा रहा है कि अब उनके सारे रिकॉर्ड में भी उनका नाम बदला जाएगा।
एडीएम पूजा मिश्रा ने उन्हें आश्वस्त किया है कि जल्द ही उनका नाम बदल दिया जाएगा। घर वापसी का प्रमाण पत्र निर्गत होने के बाद ही बैंक से लेकर हर जगह उनका नाम बदला जाएगा।
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एहसान बताते हैं कि उनकी पूरी स्कूलिंग प्रयागराज से ही हुई है। उनका कहना है इलाहाबाद विश्वविद्यालय से ग्रेजुएशन, पोस्ट ग्रेजुएशन करने के बाद यही से इंग्लिश में पीएचडी की और फिर इसके बाद ADC में बतौर शिक्षक पढ़ाना शुरू किया। फिलहाल वह सीएमपी में एसोसिएट प्रोफेसर हैं। सनातन धर्म अपनाने के कारणों का खुलासा करते हुए वह जिलाधिकारी को दिए अपने आवेदन में बताते हैं कि 2020 में वो हिन्दू संगठनों के संपर्क आए। बस यहीं से सनातन धर्म की महत्ता को जानने का मौका मिला। इसके बाद घर वापसी करने का निर्णय लिया।
एहसान कहते हैं कि घर वापसी करने के बाद एक हिन्दू युवती से उन्होंने विवाह किया है। उनकी पत्नी भी बलिया के एक इंटर कॉलेज की प्राध्यापिका हैं। वह बताते हैं कि उन्होंने बकायदा अग्नि को साक्षी मानकर सात फेरे लिए हैं। हनुमान मंदिर में पूजा अर्चना भी करते हैं।
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