गुवाहाटी। मुख्यमंत्री डॉ हिमंत बिस्व सरमा ने कहा है कि बुनियादी ढांचे के विकास की पहल से असम की प्रगति में एक और बड़ी छलांग लगाते हुए, रविवार को वर्चुअल मोड के माध्यम से कुल 11,600 करोड़ रुपये की परियोजनाओं का प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा औपचारिक उद्घाटन और शिलान्यास किया गया। मुख्यमंत्री डॉ सरमा आज गुवाहाटी में कॉलेज ऑफ वेटरनरी साइंस प्लेग्राउंड में आयोजित एक समारोह को प्रधानमंत्री की उपस्थिति में संबोधित कर रहे थे।
इस अवसर पर स्वागत भाषण देते हुए मुख्यमंत्री डॉ. हिमंत बिस्वा सरमा ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को असम के लोगों का सदाबहार मित्र बताते हुए कहा कि असम के इतिहास में एक ही दिन में कुल मिलाकर 11,600 करोड़ रुपये की बुनियादी ढांचा परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास किया गया। मुख्यमंत्री ने कहा कि असम के प्रति प्रधानमंत्री की सद्भावना के कारण, यूनाइटेड लिबरेशन फ्रंट ऑफ असम (उल्फा) और राज्य में सक्रिय अन्य विद्रोही समूहों के साथ शांति समझौते पर हस्ताक्षर किए गए। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य भर में शांति की वापसी से हजारों युवा मुख्यधारा में लौट आए हैं, जो अब राष्ट्र निर्माण की प्रक्रिया में योगदान दे रहे हैं। उन्होंने कहा कि उन्होंने पिछले तीन वर्षों में हड़तालों/आंदोलनों का रास्ता छोड़ने के लिए असम के लोगों को श्रेय दिया और इससे सरकार को राज्य को विकास की नई सुबह की ओर ले जाने में मदद मिली है।
मुख्यमंत्री डॉ. सरमा ने कहा कि बोगीबील पुल, 9.15 किलोमीटर लंबा भूपेन हजारिका ब्रिज (ढोला-सदिया ब्रिज) जैसी परियोजनाएं, असम के लिए प्रधानमंत्री की दीर्घकालिक दृष्टि के कारण ही संभव हुआ। नदी-द्वीप माजुली को मुख्य भूमि से जोड़ने वाले ब्रह्मपुत्र नद पर पुल, नुमलीगढ़ को गहपुर से जोड़ने वाली ब्रह्मपुत्र नद के नीचे सुरंग, सुवालकुची को पलाशबाड़ी से जोड़ने वाला ब्रह्मपुत्र नद पर पुल, राज्य भर में 17 कैंसर अस्पताल, असम माला के तहत सड़क बुनियादी ढांचे का विकास जैसी परियोजनाएं , एक अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स), गुवाहाटी के आसपास रिंग रोड, रेलवे बुनियादी ढांचे का विकास, अरुणोदय और प्रधानमंत्री आवास योजना के लाभ प्रदान करना आदि की प्रधानमंत्री की सद्भावना के बिना कल्पना नहीं की जा सकती थी।
मुख्यमंत्री ने विश्वास जताया कि राज्य के सर्वांगीण विकास के लिए प्रधानमंत्री के अथक प्रयास और मार्गदर्शन आने वाले दिनों में असम को देश के सभी मोर्चों पर अग्रणी राज्यों में से एक में बदलने में मदद करेगा। मुख्यमंत्री ने राज्य के लोगों से हड़ताल और आंदोलन के बजाय कार्य-संस्कृति और विकास को अपनाने का आग्रह किया। मुख्यमंत्री ने कहा कि असम को विकास के अगले स्तर पर ले जाने के लिए यह महत्वपूर्ण है, जिसका राज्य हकदार है।
इस अवसर पर राज्यपाल गुलाब चंद कटारिया, केंद्रीय बंदरगाह, जहाजरानी और जलमार्ग मंत्री सर्बानंद सोनोवाल, केंद्रीय पेट्रोलियम राज्य मंत्री रामेश्वर तेली, असम ककैबिनेट मंत्री अतुल बोरा, कार्बी आंगलोंग स्वायत्त परिषद के मुख्य कार्यकारी तुलीराम रोंगहांग, उत्तर कछार हिल्स स्वायत्त परिषद के मुख्य कार्यकारी देबोलाल गार्लोसा, बोडोलैंड प्रादेशिक क्षेत्र के मुख्य कार्यकारी प्रमोद बोड़ो, असम प्रदेश भारतीय जनता पार्टी के अध्यक्ष भबेश कलिता आदि मंच पर उपस्थित थे।
(सौजन्य सिंडिकेट फीड)
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