कोलकाता। शिक्षक नियुक्ति भ्रष्टाचार मामले में गिरफ्तार पूर्व शिक्षा मंत्री पार्थ चटर्जी और कालीघाट वाले काकू यानी सुजय कृष्ण भद्र के लिए कलकत्ता हाई कोर्ट में राज्य सरकार के वकील पक्ष रख रहे थे। इस पर हाईकोर्ट ने जमकर फटकार लगाई। कोर्ट ने पूछा कि यह क्या हो रहा है? गिरफ्तार किए गए बाहरी लोगों के लिए सरकार पक्ष रखेगी क्या? इसकी अनुमति है ? यह कौन सा काम हो रहा है?
दरअसल, बुधवार को सुनवाई के दौरान राज्य के महाधिवक्ता (एजी) किशोर दत्ता पार्थ चटर्जी और ”कालीघाट वाले काकू” उर्फ सुजय कृष्ण भद्र की ओर से अदालत में पेश हुए थे। उन्हें देखकर कलकत्ता हाई कोर्ट के जज ने पूछा, “आप उनके लिए सवाल क्यों कर रहे हैं?” आप राज्य के एजी हैं!
कलकत्ता हाई कोर्ट के जस्टिस तीर्थंकर घोष की बेंच में सुनवाई हुई। उस मामले में राज्य के एजी कोर्ट से पार्थ और सुजय की जमानत की मांग कर रहे थे। इस पर जब जज ने सवाल खड़ा किया तो किशोर दत्त ने कहा कि वह दोनों के वकील पहले से रहे हैं और बाद में एजी का पद संभाला है।
न्यायमूर्ति घोष ने बुधवार को उनसे कहा, “यदि आप एक वकील के रूप में पार्थ चटर्जी के लिए पक्ष रखना चाहते हैं तो आपको राज्य से विशेष अनुमति लानी होगी। अगर राज्य इजाजत दे तो कोर्ट को कोई दिक्कत नहीं है।” इसके बाद न्यायाधीश ने दोनों की जमानत मामले पर सुनवाई रोक दी।
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