इस्राएल ने मित्र देश भारत को एक पत्र लिखा है जिसमें उन्होंने सांसद संजय राउत के प्रति अपनी नाराजगी जाहिर की है। पत्र में इस्राएल सरकार की तरफ से लिखा गया है कि संजय को बता दिया जाए कि उनकी बात से हमें पीड़ा पहुंची है।
दरअसल उद्धव ठाकरे की शिवसेना के सांसद संजय राउत ने अपनी पोस्ट में यहूदियों के नरसंहार का पक्ष लेते हुए उसे उचित ठहराया था। इस बात से इस्राएल सरकार ने आहत होकर भारत सरकार को एक चिट्ठी भेजी है, जिसमें राउत के संज्ञान में यह लाने की अपील की गई है कि उनकी उस पोस्ट से ‘हमें कितनी पीड़ा पहुंची है’।
भारत सरकार को यह पत्र नई दिल्ली स्थित इस्राएल के दूतावास की ओर से भेजा गया है। इसमें संजय राउत द्वारा यहूदियों के नरसंहार को जायज बताती, यहूदी समुदाय को आहत करने वाली टिप्पणी को लेकर अपनी पीड़ा से अवगत कराया गया है।
महाराष्ट्र केन्द्रित शिवसेना पार्टी (उद्धव) से सांसद संजय राउत ने अपनी पोस्ट में हिटलर के किए यहूदियों के नरसंहार यानी होलोकास्ट नरसंहार को सही बताया था। इस टिप्पणी का संज्ञान लेते हुए इस्राएल के दूतावास ने भारत सरकार के विदेश मंत्रालय तथा लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को यह पत्र लिखा है और शिवसेना के नेता संजय राउत की सोशल मीडिया पर गत 24 नवम्बर की उस यहूदी समुदाय विरोधी पोस्ट को लेकर अपनी शिकायत दर्ज कराई है।
मीडिया में इस बाबत आए समाचारों के अनुसार, इस पत्र के माध्यम से इस्राएल ने भारत सरकार से यह अनुरोध किया है कि शिवसेना के सांसद को उनकी टिप्पणी से इस्राएल के आहत होने के बारे में बताया जाए। पत्र में लिखा है कि राउत की टिप्पणी ने ऐसे देश को बहुत पीड़ा पहुंचाई है जो सदा से भारत के साथ मिलकर खड़ा रहा।
उल्लेखनीय है कि 24 नवंबर, 2023 को शिवसेना (उद्धव) के सांसद संजय राउत ने ट्विट पर एक पोस्ट को साझा करते हुए, अपने हैंडल से यहूदी समुदाय के विरुद्ध जर्मनी के तानाशाह हिटलर के होलोकास्ट को सही ठहराती टिप्पणी की थी। जिस पोस्ट को संजय राउत ने अपनी टिप्पणी के साथ साझा किया था वह अल शिफा अस्पताल की कथित स्थिति को लेकर ‘आर्टिकल19 इंडिया’ हैंडल से लिखी गई थी। उस पोस्ट में कथित अल शिफा अस्पताल में तय वक्त से पूर्व जन्मे बच्चों का एक वीडियो साझा करते हुए यह कहा गया था कि ‘इस्राएल के सशस्त्र बलों ने इन नवजात बच्चों के इनक्यूबेटर यंत्र की बिजली गुल कर दी है’। इस पोस्ट को साझा करते हुए संजय राउत ने टिप्पणी लिखी कि ‘हिटलर ज्यू कम्युनिटी से इतनी नफरत क्यों करता था, ये अब समझ में आ रहा है’।
राउत ने दूसरे विश्व युद्ध में हिटलर द्वारा किए यहूदियों के नरसंहार को उचित ठहराया है। उस दौरान हिटलर ने भीषण नरसंहार रचते हुए, 60 लाख से ज्यादा यहूदियों की हत्या करवा दी थी। यहूदियों को बर्बर तरीकों से मारा गया था। उन्हें गैस चैंबर में बंद करके, उनका दम घोंट दिया गया था।
एक प्रकार से राउत ने दूसरे विश्व युद्ध में हिटलर द्वारा किए यहूदियों के नरसंहार को उचित ठहराया है। उस दौरान हिटलर ने भीषण नरसंहार रचते हुए, 60 लाख से ज्यादा यहूदियों की हत्या करवा दी थी। यहूदियों को बर्बर तरीकों से मारा गया था। उन्हें गैस चैंबर में बंद करके, उनका दम घोंट दिया गया था।
बयान देकर मुंह सिल लेने के लिए जाने जाने वाले संजय राउत ने जब देखा कि उनकी उस पोस्ट से विवाद बढ़ गया है तो उन्होंने पोस्ट डिलीट कर दी। लेकिन उस वक्त तक तो उसने इस्राएल की त्योरियां चढ़ा ही दी थीं।
इस्लामी प्रभाव वाले मीडिया ने अल शिफा अस्पताल को लेकर खूब दुष्प्रचार किया, बार बार ऐसे दृश्य दिखाए जाते रहे जिनसे भावनाएं भड़कें, कहा गया कि ’39 बच्चों की मौत हो गई है’। जबकि अस्पताल का कहना सिर्फ यह था कि ऑक्सीजन तथा बिजली की ऐसी किल्लत हो गई है कि इन पर खतरा मंडरा रहा है। उधर सच यह भी है कि इस्राएल सुरक्षा बल की तरफ से अल शिफ़ा अस्पताल को ऑक्सीजन तथा मदद देने का प्रस्ताव भेजा गया था जिससे कि उन बच्चों को हिफाजत के साथ बाहर निकालना संभव हो।
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