राघोजी भांगरे
जन्म : 8 नवंबर, 1805, देवगांव (महाराष्ट्र)
बलिदान : 2 मई, 1848
महाराष्ट्र के क्रांतिवीर राघोजी भांगरे के पिता ने अंग्रेजों के विरुद्ध संघर्ष प्रारंभ किया था।
इस कारण उन्हें कालापानी की सजा हुई थी। युवा राघोजी ने अपने वीर पिता का अनुसरण किया और सह्ययाद्र्रि की पर्वतमालाओं में ईस्ट इंडिया कंपनी तथा उनके पिट्ठुओं के विरुद्ध लड़ाई छेड़ दी।
1845 के युद्ध में अंग्रेजों से सीधा संघर्ष हुआ और हजारों लोग मारे गए। अनेक साथी पकड़े गए।
कुछ समय बाद पंढरपुर में राघोजी को भी अंग्रेजों ने पकड़ लिया। इस दौरान उन्हें घोर यातनाएं दी गई। इसके बावजूद वे अंग्रेजों के सामने नहीं झुके।
2 मई, 1848 को ठाणे के कारागृह में भारत माता के इस सपूत को फांसी दी गई।
टिप्पणियाँ