चीन से फंडिंग लेकर देश के खिलाफ काम करने के आरोप में गिरफ्तार किए गए समाचार पोर्टल न्यूज क्लिक के संस्थापक संपादक प्रबीर पुरकायस्थ ने अपनी गिरफ्तारी के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। सुप्रीम कोर्ट में उनका केस कांग्रेस नेता कपिल सिब्बल लड़ रहे हैं। सर्वोच्च अदालत में उन्होंने ‘राष्ट्र-विरोधी’ प्रचार को बढ़ावा देने के लिए कथित चीनी फंडिंग को लेकर यूएपीए के तहत अपनी गिरफ्तारी और हिरासत को चुनौती दी है।
न्यूज क्लिक की तरफ से कांग्रेस नेता और वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल ने सुप्रीम कोर्ट में दलीलें पेश की। उन्होंने मामले को सुप्रीम कोर्ट के समक्ष तत्काल सूचीबद्ध करने का उल्लेख किया। इस पर सुप्रीम कोर्ट ने सिब्बल से मामले के कागजात सबमिट करने को कहा। कोर्ट ने कहा कि इसके बाद वो इस मामले को सूचीबद्ध करने पर फैसला करेगा।
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इससे पहले 13 अक्टूबर को न्यूज वेब पोर्टल न्यूजक्लिक के मुखिया प्रबीर पुरकायस्थ को दिल्ली हाईकोर्ट से बड़ा झटका लगा था, जब केंद्रीय जाँच एजेंसी CBI द्वारा की गई गिरफ्तारी को चुनौती देने वाली उनकी याचिका को दिल्ली हाई कोर्ट ने खारिज कर दिया था।
क्या है पूरा मामला
गौरतलब है कि 10 अक्टूबर को दिल्ली पुलिस की स्पेशल टीम ने चीनी फंडिंग के मामले में न्यूज क्लिक के ऑफिस उसके कर्मचारियों और संपादक प्रबीर पुरकायस्थ के घर पर छापा मारकर तलाशी ली। पुलिस ने कई सारे आपत्तिजनक इलेक्ट्रॉनिक सबूतों को भी जब्त किया था। बाद में दिल्ली पुलिस ने प्रबीर पुरकायस्थ और न्यूज क्लिक के एचआर हेड अमित चक्रवर्ती को गिरफ्तार कर लिया था।
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न्यूज क्लिक पर आरोप है कि उसने चीन से अवैध तरीके से फंडिंग की गई थी। इसके बदले उन्हें भारत के खिलाफ दुष्प्रचार को बढ़ावा देना था। दिल्ली पुलिस के आरोपों के मुताबिक, प्रबीर पुरकायस्थ और चीन में रहने वाले अमेरिकी बिजनेसमैन नेविल रॉय सिंघम के बीच ईमेल पर बात हुई थी कि कैसे अरुणाचल प्रदेश और कश्मीर को भारत के नक्शे से अलग दिखाया जाए। इस मामले में पुरकायस्थ के खिलाफ यूएपीए के तहत केस दर्ज किया गया है।
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