देहरादून। उधम सिंह नगर जिले में बाजपुर के बरहैनी वन क्षेत्र में आरक्षित वन क्षेत्र की सरकारी जमीन पर कब्जा कर बैठे कट्टरपंथी मुस्लिमों ने कब्जा हटाने गई वन विभाग और पुलिस-प्रशासन के दल पर लाठी-डंडों से हमला कर दिया। इस मामले में कालाढूंगी थाने में 84 लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है।
जानकारी के मुताबिक बरहैनी के जंगलों में अवैध रूप से बसे मुस्लिमों के द्वारा सैकड़ों एकड़ जमीन पर कब्जा करके खेती की जा रही है। ये क्षेत्र आरक्षित वन है और एशियन एलिफेंट कॉरिडोर का हिस्सा है। जंगल में खेती कार्य किए जाने की सूचनाएं वन मुख्यालय में सैटेलाइट चित्रों के माध्यम से मिली थी। जिस पर पीसीसीएफ अनूप मलिक ने तत्काल इसे हटाने के लिए निर्देशित किया था।
तराई पश्चिम वन प्रभाग की टीम, पुलिस और तहसीलदार को लेकर वहां पहुंची जहां अवैध रूप से काबिज मुस्लिमों ने प्रशासनिक टीम पर हमला बोल दिया। लाठी-डंडों से लैस इन लोगों ने वन दारोगा शशि वर्धन, वन बीट अधिकारी रुस्तम सिंह की वर्दी फाड़ दी, जिसके बाद वहां अफरा तफरी का माहौल पैदा हो गया। हमले और पत्थरबाजी से चलते वन विभाग को जेसीबी मशीन को वापस लाना पड़ा। तब तक वन कर्मी चार झोपड़ियां तोड़ चुके थे।
वन कर्मियों ने कालाढूंगी थाने में आकर मोहम्मद यासीन और 83 अन्य के खिलाफ एफआईआर दर्ज करवाई है। पुलिस थाना प्रभारी नंदन सिंह रावत ने बताया कि मामला दर्ज कर लिया गया है। आरोपियों की तलाश की जा रही है।
उल्लेखनीय है उत्तराखंड के वन क्षेत्र में मुस्लिमों द्वारा सरकारी जंगल की जमीन पर कब्जे किए जा रहे हैं। एक अनुमान के मुताबिक करीब छह हजार एकड़ वन भूमि पर मुस्लिमों के कब्जे हैं, जिन्हें जीपीएस, सैटेलाइट तकनीक के माध्यम चिन्हित किया गया है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देश पर जंगलों को अतिक्रमण मुक्त करने का अभियान चलाया जा रहा है। अभी तक तीन हजार वन क्षेत्र से अतिक्रमण हटाया जा चुका है।
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