मुंबई। पुणे में बम धमाका की साजिश रचने में विदेशी हाथ होने की जानकारी एंटी टेरोरिस्ट स्कॉड (एटीएस) को मिली है। हालांकि, विदेशी आतंकी का नाम सार्वजनिक नहीं किया गया है, लेकिन उसकी गहन तलाश की जा रही है। एटीएस को यह जानकारी आतंकियों को वित्तीय मदद मुहैया करवाने वाले गिरफ्तार मैकेनिकल इंजीनियर से पूछताछ के दौरान मिली है। इस इंजीनियर से पहले एटीएस ने एक डॉक्टर को पुणे से गिरफ्तार किया था।
एटीएस की टीम ने शनिवार को रत्नागिरी जिले से आतंकियों को वित्तीय मदद मुहैया कराने वाले मैकेनिकल इंजीनियर निसाब नसरुद्दीन काजी (उम्र 27) को गिरफ्तार किया है। एक एटीएस अधिकारी ने बताया कि निसाब नसरुद्दीन काजी की वार्षिक आय करीब 15 लाख रुपये है। काजी इसी आय का कुछ हिस्सा आतंकियों को भेजता था। उसके बैंक खाते से कई आतंकियों को पैसे भेजे जाने की जानकारी अब तक की जांच में मिली है।
एटीएस ने काजी की गिरफ्तारी इससे पहले गिरफ्तार किए गए मोहम्मद यूनुस मोहम्मद याकू साकी (24), मोहम्मद इमरान मोहम्मद यूसुफ खान (23) और अब्दुल कादिर दस्तगीर पठान (उम्र 32) की निशानदेही पर की है। इन चारों पर पुणे में बम धमाका रचने की साजिश रचने का आरोप है।
ट्रू कॉलर से पकड़े गए थे आतंकी, बताया था हिंदू नाम
दरअसल, पुणे जिले के कोथरुड पुलिस स्टेशन की टीम ने मोटरसाइकिल चोरी करने के प्रयास में दो लोगों को गिरफ्तार किया था। जांच में पता चला कि दोनों दुर्दांत आतंकी हैं और इन दोनों पर एनआईए ने 5-5 लाख रुपये का इनाम घोषित किया है। इन दोनों ने अपना नाम हिंदू बताया था, लेकिन ट्रू कॉलर से वे पकड़े गए। दोनों से गहन छानबीन के बाद पुलिस ने तीसरे आतंकी को गिरफ्तार किया था और शनिवार को इनका चौथा साथी इंजीनियर पकड़ा गया है। एटीएस की टीम इस मामले में विदेशी नागरिक की गहन तलाश कर रही है।
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