कन्वर्जन भी बिल्कुल ऐसा ही मामला है। सारा विरोध सिर्फ एक पीढ़ी तक है। अगली पीढ़ी तो वह पंथ लेकर पैदा होती है, जिससे उसे फर्क नहीं पड़ता कि एक पीढ़ी पहले फुसलाकर कन्वर्ट किए गए हैं या जबरदस्ती या खुद से।
खेत कैसे कब्जाए जाते हैं? धीरे-धीरे हफ्तों-महीनों तक कुछ-कुछ इंच आगे बढ़ते रहते हैं। जब तक सामने वाला विरोध करने आता है, उतनी जमीन कब्जा ली जाती है। फिर उस पर झगड़ा चलता है। कब्जाई गई कितनी जमीन वापस की जाएगी, यह इस पर निर्भर करता है कि सामने वाला कितना मजबूत है। बहुत विरोध होगा तो वह थोड़ा पीछे हट जाएगा, लेकिन हफ्तों पहले जितनी जमीन कब्जा ली, वह तो उसके बाप की हो ही गई।
कन्वर्जन भी बिल्कुल ऐसा ही मामला है। सारा विरोध सिर्फ एक पीढ़ी तक है। अगली पीढ़ी तो वह पंथ लेकर पैदा होती है, जिससे उसे फर्क नहीं पड़ता कि एक पीढ़ी पहले फुसलाकर कन्वर्ट किए गए हैं या जबरदस्ती या खुद से। ‘द केरल स्टोरी’ में सिर्फ पहली पीढ़ी के कन्वर्जन का विरोध है, क्योंकि इसमें लड़की को कन्वर्ट होते और तुरंत बाद आतंकियों के साथ जाते दिखा दिया। वरना भारत, पाकिस्तान व बांग्लादेश के सारे आतंकी ही कन्वर्टेड हैं।
‘द केरल स्टोरी’ में सिर्फ पहली पीढ़ी के कन्वर्जन का विरोध है, क्योंकि इसमें लड़की को कन्वर्ट होते और तुरंत बाद आतंकियों के साथ जाते दिखा दिया। वरना भारत, पाकिस्तान व बांग्लादेश के सारे आतंकी ही कन्वर्टेड हैं।
अजमल कसाब के पूर्वजों पर एक फिल्म बननी चाहिए। यदि वे कन्वर्ट नहीं होते तो क्या हिंदुओं को मारने के लिए कसाब आतंकी बनता! क्या पता वह किसी बहुराष्ट्रीय कंपनी में सॉफ्टवेयर इंजीनियर होता। गिटार बजाना, मछली पालना उसका शौक होता। उसकी एक प्यारी सी बच्ची होती। यदि बुरहान वानी के पूर्वज कन्वर्ट न हुए होते तो शायद वह सेना के हाथों मारा नहीं जाता, बल्कि हो सकता है सेना का अधिकारी होता। अब इन 11 (मध्य प्रदेश से गिरफ्तार) लोगों को देखिए। ये जंगलों में कैम्प लगाकर आतंकी अभ्यास नहीं कर रहे होते, अगर हिंदुओं ने इनके पूर्वजों को कन्वर्ट होने से बचा लिया होता तो कोई हिंदू मां-बाप कम से कम इस डर में तो नहीं जीता कि मेरा बच्चा गीता-रामायण बहुत पढ़ता है, कल को पाकिस्तान ‘फटने’ तो नहीं चला जाएगा।
ध्रुव राठी 32,000 की संख्या को फर्जी बता रहा है, जबकि हकीकत यह है कि भारत, बांग्लादेश और पाकिस्तान का हर आतंकी कन्वर्टेड हिंदू ही है। फर्क यह है कि कुछ इस पीढ़ी और कुछ पिछली में कन्वर्ट हुए। आतंकी ही नहीं, सारे नक्सली भी कन्वर्टेड हैं, क्योंकि वामपंथी भी सबसे पहले लोगों के मन से हिंदू भाव खत्म करते हैं। अगर जिन्ना के दादा को किसी ने कन्वर्ट होने से रोक लिया होता तो शायद पाकिस्तान ही न बनता। 10 लाख लोगों की जान बच जाती। चार युद्ध और इतना पैसा खर्च न होता।
विभाजन, आतंकवाद, सबके मूल में कन्वर्जन है। सब का मुखर विरोध होना चाहिए। फिल्म ‘द केरल स्टोरी’ इसी पर चोट करती है, इसलिए सारा इकोसिस्टम विरोध में उतर गया है।
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