अमेरिका की राजधानी वाशिंग्टन डीसी में आज प्रेस क्लब में जम्मू-कश्मीर पर चर्चा आयोजित की गई। इसमें वहां की परिस्थितियों में आ रहे सकारात्मक बदलाव पर अपने अपने विचार रखने के लिए कई वक्ता उपस्थित थे। चर्चा चल ही रही थी कि कुछ चिढ़े पाकिस्तानियों ने नारेबाजी करते हुए इस कार्यक्रम में बाधा डालने की कोशिश की। हालांकि उनके मंसूबे कामयाब नहीं हो पाए। इस घटना का एक वीडियो समाचार एजेंसी एएनआई ने जारी किया है।
चर्चा स्थल पर लिए इस वीडियो को देखने से पता चलता है कि कमरे के बाहर खड़ा एक पाकिस्तानी व्यक्ति अपना गुस्सा दिखा रहा है। साफ तौर पर वह कश्मीर के वर्तमान ‘स्टेट्स’ पर खुश नहीं है। वह गुस्से में भर कर चर्चा को चिल्लाकर यह बोलते हुए दिख रहा है कि ‘फ्रीडम ऑफ स्पीच का गला घोंटा जा रहा है’। इस षोर को सुनकर कुछ लोग बाहर आकर उस पाकिस्तानी आदमी को वहां से बाहर कर देते हैं। (देखें वीडियो)
#WATCH | Pakistanis heckle, interrupt discussion on Kashmir’s transformation in Washington DC’s National Press Club pic.twitter.com/I5OHEL6s9I
— ANI (@ANI) March 24, 2023
उल्लेखनीय है कि ऐसे पाकिस्तानी तत्व भारत के केन्द्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर में लौट रहे अमन-चैन और सकारात्मक बदलाव से खुश नहीं हैं। जहां भी इस तरह की चर्चा या कार्यक्रम होती है वहां पाकिस्तानी अपनी सरकार के प्रोपेगेंडा के अनुसार, भारत को बदनाम करने की कोशिश करते हैं। जबकि तथ्य यह है कि अंतरराष्ट्रीय जानकार कष्मीर में लौट रहीं खुषियों को लेकर भारत की वर्तमान सरकार की कई अनेक मंचों से तारीफें करते रहे हैं।
वाशिंगटन डीसी के प्रेस क्लब में कल यह परिचर्चा इंटरनेशनल सेंटर फॉर पीस स्टडीज द्वारा आयोजित की गई थी। उसमें विषेशज्ञों को ‘कश्मीरः परिवर्तन और जमीनी संदर्भ’ विशय पर अपने विचार रखने को आमंत्रित किया गया था। वक्ताओं में जम्मू-कश्मीर वर्कर्स पार्टी के प्रमुख मीर जुनैद तथा जम्मू कश्मीर में बारामुला नगर परिषद के अध्यक्ष तौसीफ रैना भी थे।
भारत में भी विरोधी दलों के नेता सरकार को अपने एजेंडे के तहत बदनाम करते हुए यह तो कहते हैं कि ‘वहां अमन नहीं है’! लेकिन वही नेता कश्मीर में बेखौफ बर्फ के गोले बनाकर बच्चों की सी मस्ती करते हैं तब वहां आए बदलाव की तारीफ करने से कन्नी काट जाते हैं।
वाशिंगटन डीसी के प्रेस क्लब में कल यह परिचर्चा इंटरनेशनल सेंटर फॉर पीस स्टडीज द्वारा आयोजित की गई थी। उसमें विषेशज्ञों को ‘कश्मीरः परिवर्तन और जमीनी संदर्भ’ विषय पर अपने विचार रखने को आमंत्रित किया गया था। वक्ताओं में जम्मू-कश्मीर वर्कर्स पार्टी के प्रमुख मीर जुनैद तथा जम्मू कश्मीर में बारामुला नगर परिषद के अध्यक्ष तौसीफ रैना भी थे। दिलचस्प बात है कि कल ही इसी दिन संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद में भारत ने जम्मू-कश्मीर पर बात करते हुए पाकिस्तान को सख्त जवाब दिया था।
उक्त बैठक में विदेश मंत्रालय में अवर सचिव पीआर तुलसीदास का कहना था कि हमें भारत में अल्पसंख्यक समुदायों की सुरक्षा, कल्याण पर ध्यान देना है, न कि पाकिस्तान के दुष्प्रचार में शामिल होना है। दरअसल कश्मीर में धारा 370 के हटने के बाद से पाकिस्तान बराबर दुष्प्रचार करता आ रहा है। लेकिन भारत उसे सार्वजनिक रूप से कड़ा जवाब देता आ रहा है।
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