प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा है कि भारत ‘ऑपरेशन दोस्त’ के तहत अधिक से अधिक लोगों की जान बचाने का प्रयास करता रहेगा।
तुर्की में भारतीय टीम द्वारा निभाई जा रही भूमिका के संबंध में विदेश मंत्रालय के एक ट्वीट का जवाब देते हुए प्रधानमंत्री ने ट्वीट किया, “हमारी टीमें ‘ऑपरेशन दोस्त’ के एक हिस्से के रूप में दिन-रात काम कर रही हैं। वे अधिक से अधिक लोगों का जीवन और संपत्ति को बचाने के लिए अपना सर्वश्रेष्ठ देना जारी रखेंगी। इस संकटपूर्ण घड़ी में, भारत तुर्की के लोगों के साथ मजबूती से खड़ा है।”
इस्केंडरन, हटे में फील्ड अस्पताल के कुछ वीडियो साझा करते हुए विदेश मंत्रालय ने ट्वीट किया था कि चिकित्सा विशेषज्ञों की भारतीय सेना की टीम 24×7 काम पर है, जो घायलों को राहत प्रदान कर रही है।
भूकंप से अब तक 21,000 से ज्यादा लोगों की मौत
बता दें कि तुर्किये और सीरिया में भूकंप से मरने वालों की संख्या लगातार बढ़ रही है। भूकंप के पांचवें दिन भी (शुक्रवार) मलबे को खंगाला जा रहा है। लगातार शव निकल रहे हैं। तबाही का मंजर यह है कि कई शहरों सबकुछ खत्म हो चुका है। बावजूद लोगों को उम्मीद है मलबे के नीचे उनका कोई अपना जिंदा होगा। पल-पल टूटती आस के बीच दोनों देशों में अब तक 21 हजार से ज्यादा लोगों की जान गई है। तुर्किये और सीरिया में बचाव और राहत कार्य युद्धस्तर पर जारी हैं।
भूकंप से सबसे ज्यादा प्रभावित शहर अंताक्या, सान्लिउर्फा और अलेप्पो हैं। दक्षिण मध्य तुर्की के अंताक्या शहर की आबादी करीब 2.50 लाख थी। इस शहर का एक बड़ा हिस्सा मलबे में तब्दील हो चुका है। पूर्व में सान्लिउर्फा का भी यही हाल है। इस शहर को सीरियाई संस्कृति का प्रमुख केंद्र माना जाता है।अलेप्पो शहर भी खंडहर बन चुका है।
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