पाकिस्तान के अफगानिस्तान से सटे सीमा क्षेत्र में आजकल उपद्रव मचा हुआ है। तालिबान हुकूमत अंग्रेजों की बनाई उस ‘सीमा’ को मानने को तैयार नहीं है। जबकि पाकिस्तान सीमा पर तारबंदी करने से बाज नहीं आ रहा है। तालिबान लड़ाकों के लाख धमकाने के बावजूद चमन सीमा पर पाकिस्तान की गतिविधियां जारी हैं। इससे गुस्साए तालिबान लड़ाकों ने कई बार सीमा पर हिंसक हमले किए हैं, गोलियां चलाई हैं और सीमा के अंदर घुसकर पाकिस्तानी फौजियों को धमकाया है। लेकिन तनाव आज भी बना हुआ है।
अब पाकिस्तान ने अपनी और से तनाव घटाने की पहल की है। इस्लामाबाद संभवत: इसी सप्ताह चार मौलवियों को काबुल भेजकर तालिबान अधिकारियों के गुस्से को ठंडा करेगा। ये चार पाकिस्तानी मौलवी कंधार भी जाएंगे। दोनों स्थानों पर वे अफगानी रक्षा मंत्रालय के अफसरों तथा तालिबान के बड़े वाले नेताओं के साथ बैठकें करेंगे।
मौलवियों का यह प्रतिनिधिमंडल मुख्यत: अफगानिस्तान जाकर दक्षिण-पश्चिम चमन सीमा क्षेत्र में जारी संघर्ष को बंद करने की बात करेगा। कल इस्लामाबाद से प्रेस को यह जानकारी दी गई है।
पाकिस्तान के एक मशहूर समाचार पत्र ने चमन के अधिकारियों से मिली जानकारी के आधार पर छापी अपनी रिपोर्ट में लिखा है कि सरकार चार मौलवियों को यह जिम्मेदारी सौंपकर अफगानिस्तान भेजने वाली है कि वे सीमा क्षेत्र में तनाव दूर करवाएं। बताया यह भी गया है कि मौलवियों की इस टोली के जाने से पहले होने वाली पाकिस्तान-अफगानिस्तान के बीच चमन सीमा पर होने वाली सेना की ‘फ्लैग मीटिंग’ स्थगित कर दी गई है।
उल्लेखनीय है कि पिछले सप्ताह खैबर पख्तूनख्वा सूबे के चमन शहर के पास अफगानिस्तान की तरफ से जबरदस्त गोलीबारी हुई थी। इससे पहले भी ऐसी ही एक और घटना देखने में आई थी। पाकिस्तान की तरफ से सीमा पार से हुई उस गोलीबारी की वारदात पर नाराजगी जताई गई थीं। उस घटना के बाद से ही दोनों देशों के बीच तनाव काफी बढ़ा हुआ है।
चमन सीमा पर ऐसा ही एक हमला 10 दिसंबर के दिन भी हुआ था, उस हमले में 7 लोग मारे गए थे। ज्यादा दिन नहीं बीते जब काबुल स्थित पाकिस्तानी दूतावास पर गोलीबारी की गई थी। हालांकि उस घटना की जिम्मेदारी आतंकी गुट आईएस ने ली थी। इसके बाद पाकिस्तान सरकार ने बयान दिया था कि अफगानिस्तान की हुकूमत आतंकवादियों को शरण दिए हुए है। ये आतंकवादी वहां से पाकिस्तान पर जानलेवा हमले कर रहे हैं।
यहां ध्यान देने की बात है कि दोनों देशों, पाकिस्तान और अफगानिस्तान के बीच 2,600 किलोमीटर लंबी सीमा है। पाकिस्तान और अफगानिस्तान के बीच चमन सीमा का कारोबारी इलाका पड़ता है। यहां दोनों देशों के सुरक्षाबल आपस में टकराते रहे हैं। चमन से लगता पाकिस्तान का बलूचिस्तान सूबा है जो अफगानिस्तान के कंधार प्रांत से सटा हुआ है। यहां पिछले महीने गोलियां चली थी, जिसमें एक पाकिस्तानी फौजी मारा गया था। घटना को अंजाम देने के लिए हथियारों से लैस अफगानी लड़ाके सीमा पार करके पाकिस्तान में दाखिल हुए थे।
अब इसी सब तनाव को दूर करने के लिए पाकिस्तानी मौलवी अफगानिस्तान भेजे जाने वाले हैं, लेकिन विशेषज्ञों को संदेह है कि इससे कोई लाभ होगा। क्योंकि ऐसी कोशिशें पहले भी की गई हैं, लेकिन उनका कोई खास असर देखने में नहीं आया है।
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