आज आंध्रप्रदेश के श्रीहरिकोटा से देश के पहले निजी रॉकेट विक्रम-एस को अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) ने सफलता पूर्वक लॉन्च कर दिया गया है। अंतरिक्ष स्टार्टअप स्काईरूट एयरोस्पस की ओर से विकसित इस रॉकेट ने सुबह 11:30 बजे उड़ान भरी। पहले इस रॉकेट को 15 नवंबर को लॉन्च किया जाना था, लेकिन खराब मौसम के कारण इसे आज प्रक्षेपित किया गया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस उपलब्धि के लिए बधाई दी है।
स्टार्टअप स्काईरूट एयरोस्पेस के प्रवक्ता ने बताया कि विक्रम-एस 3 पे-लोड के साथ पृथ्वी की सब-ऑर्बिटल कक्षा में छोटे सैटेलाइट्स को स्थापित करने के लिए भेजा गया है। रॉकेट का नाम विक्रम-एस प्रसिद्ध भारतीय वैज्ञानिक और इसरो के संस्थापक डॉ. विक्रम साराभाई के नाम पर रखा गया है। कंपनी को विक्रम-एस से बेहद उम्मीदें हैं। इस पूरे मिशन को कंपनी ने ‘मिशन प्रारंभ’ नाम दिया है।
विक्रम-एस के सफल प्रशिक्षण से युवाओं के लिए अंतरिक्ष की दुनिया के कई रास्ते खुलेंगे। बताया गया है कि यह सिंगल स्टेज का सब-ऑर्बिटल लॉन्च व्हीकल है और इसके साथ तीन कमर्शियल पेलोड्स भेजे जा रहे हैं। इस लॉन्चिंग में आम ईंधन के बजाय लिक्विड नेचुरल गैस और लिक्विड ऑक्सीजन का इस्तेमाल किया जा रहा है। विक्रम-एस का लॉन्च एक तरह की टेस्ट फ्लाइट होगी। अगर इसमें सफलता मिलती है, तो भारत प्राइवेट स्पेस कंपनी के रॉकेट लॉन्चिंग के मामले में दुनिया के अग्रणी देशों में शामिल हो जाएगा।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने विक्रम-एस को देश की अंतरिक्ष में उड़ान को क्रांतिकारी बदलाव करार दिया है। मोदी ने 30 अक्टूबर को अपने ‘मन की बात’ कार्यक्रम में इसे लेकर कई बातें कही थीं। उन्होंने कहा था कि निजी क्षेत्र के लिए अंतरिक्ष के खुलने से कई युवा स्टार्ट-अप इस क्षेत्र में काम करना चाह रहे हैं।
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