इस्लामिक रिपब्लिक ऑफ पाकिस्तान में किसी अन्य आस्था को महत्त्व नहीं दिया जाता है। आए दिन इस तरह के समाचार वहां से आते हैं कि किसी जगह पर हिन्दू-सिख आस्था स्थल का अपमान हुआ या अल्पसंख्यकों पर अत्याचार हुए। ताजा घटनाक्रम में पाकिस्तान के जिला अटक के हसन अबदाल इलाके में स्थित गुरुद्वारा श्री पंजा साहिब की मर्यादा भंग होने का मामला सामने आया है। गुरुद्वारे में ‘लाहौर-लाहौर ए’ (लाहौर लाहौर है) फिल्म की शूटिंग हुई। इस दौरान स्टार कास्ट व टीम गुरुद्वारे में जूते पहन कर शूटिंग करती दिखी। कई के सिर ढके हुए नहीं थे, जो सिख मर्यादा का उल्लंघन है। यह देखकर एक श्रद्धालु ने आपत्ति जताई और घटनाक्रम का वीडियो बना लिया।
जानकारी के अनुसार, फिल्म शूटिंग में 10 से ज्यादा मुस्लिम कलाकार पगडिय़ां बांधकर गुरुद्वारे में सीन शूट कर रहे थे। जब गुरुद्वारा साहिब में आई संगत ने स्टार कास्ट व टीम को जूतों सहित अंदर घूमते देखा तो विरोध किया। संगत ने इसका वीडियो भी बनाया और वायरल किया। वीडियो में गुरुद्वारा साहिब के सेवादार फिल्म की स्टार कास्ट को सिख धर्म व परंपरा के बारे में भी बताते दिखे। शूटिंग के दौरान कई मुस्लिम कलाकार सिखों की वेशभूषा में थे। जूते पहन रखे थे तो कई ने अपना सिर भी नहीं ढक रखा था।
संगतों का कहना है कि गुरुद्वारों में सबका सम्मान है परन्तु गुरुद्वारा साहिब को शूटिंग स्थल नहीं बनाया जा सकता। इन लोगों को गुरु सिखी के सिद्धांतों व मर्यादाओं की जानकारी नहीं है। कलाकारों ने पगड़ी गलत तरीके से पहनी है और क्लीन शेव में हैं।
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