पहली बार विद्युत रेलगाड़ी बारामुला से बनिहाल पहुंची है। कश्मीर घाटी में रेल लाइन का विद्युतीकरण कार्य पूरा हो चुका है। इसके बाद अब रेल सेक्शन को चालू किया गया है। माना जा रहा है कि उधमपुर-श्रीनगर-बारामूला रेल लिंक परियोजना में एक बड़ी उपलब्धि दर्ज हुई है। उत्तर रेलवे के महाप्रबंधक आशुतोष गंगल इसके बारे में बताते हैं कि उत्तर रेलवे ने जीरो कार्बन उत्सर्जन हासिल करने और विशेष रूप से कश्मीर घाटी में बिजली से रेलगाड़ी चलाने के लिए बनिहाल-श्रीनगर-बारामुला रेल सेक्शन के विद्युतीकरण कार्य को पूरा कर लिया है। रेलवे ने 24 से 26 सितंबर 2022 तक किए गए वैधानिक निरीक्षण के बाद बनिहाल-श्रीनगर-बारामूला रेल सेक्शन को चालू किया। इस परियोजना को उधमपुर-श्रीनगर-बारामूला रेल लिंक परियोजना द्वारा क्रियान्वित किया गया। इसके अंतर्गत पीरपंजाल पर्वत श्रेणियों में स्थित भारतीय रेलवे की सबसे लंबी यातायात सुरंग (11.2 किलोमीटर) का भी विद्युतीकरण किया गया है। बर्फ से ढकी कश्मीर घाटी में 1700 मीटर की ऊंचाई पर बनी सुरंग का विद्युतीकरण एक चुनौतीपूर्ण कार्य रहा है। ओएचई के विशेष डिजाइन और 216 किलोमीटर प्रति घंटे की गति सीमा के अनुकूल विद्युत आपूर्ति करना व कंडक्टरों पर आईस लोडिंग के मद्देनजर कश्मीर घाटी में रेलवे लाइन का सफलतापूर्वक विद्युतीकरण एक चुनौती थी । 3 फेज और 8 डिब्बों वाली एमईएमयू रेलगाड़ी द्वारा इस परीक्षण को 100 किलोमीटर प्रति घंटा पर सफलतापूर्वक पूरा किया गया।
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