एक लंबे अंतराल के बाद हिंसक उथलपुथल से ग्रस्त अफगानिस्तान की राजधानी में भारत के दूतावास ने काम करना शुरू कर दिया है। केंद्र सरकार की ओर से संयुक्त सचिव स्तर के एक अधिकारी और साथ में भारतीय तकनीकी दल काबुल पहुंच चुका है और इसने वहां भूकंप से हुए नुकसान के बाद मानवीय सहायता पर काम करना शुरू कर दिया है।
एक महत्वपूर्ण बात और सामने आई है और वह यह है कि इस दल के साथ आए आईटीबीपी के हिमवीर कमांडो भारतीय दूतावास की सुरक्षा की जिम्मेदारी संभाल चुके हैं। सुरक्षा के साथ ही हिमवीर कमांडो वहां मानवीय सहायता के कामों में भी मदद दे रहे हैं।
इस घटनाक्रम पर संतोष व्यक्त करते हुए तालिबान सरकार के विदेश विभाग के प्रवक्ता अब्दुल कहार बल्खी ने ट्वीट करके भारत का धन्यवाद किया है। बल्खी ने ट्वीट में लिखा है कि ‘इस्लामिक अमीरात अफगानिस्तान अफगान लोगों के साथ अपने संबंध और मानवीय सहायता को आगे बढ़ाने के लिए काबुल में अपने दूतावास में राजनयिकों एवं तकनीकी टीम को वापस लाने के भारत सरकार के फैसले का स्वागत करता है’।
यहां बता दें कि अफगानिस्तान में पिछले साल तालिबान के सत्ता अपने हाथ में ले लेने और एक के बाद एक हिंसक घटनाओं को देखते हुए, भारत ही नहीं, अनेक देशों ने काबुल में कार्यरत अपने दूतावास बंद कर दिए थे। भारत ने अब फिर से काबुल में अपना दूतावास खोल दिया है जिसे लेकर आम अफगान नागरिकों में भी राहत की एक लहर देखी गई है।
सूत्रों के अनुसार, पिछले लगभग 20 वर्ष से अफगानिस्तान में राजधानी काबुल में भारतीय दूतावास तथा जलालाबाद, कंधार, मजारे—शरीफ और हेरात में कार्यरत चार वाणिज्य दूतावासों की सुरक्षा आईटीबीपी के कमांडो ही कर रहे थे। इस दौरान हमारे बहादुर हिमवीर जवानों ने वहां भारतीय प्रतिष्ठानों पर किए कई हमलों को बेअसर करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। साल 2016 में 70वें स्वतंत्रता दिवस की पूर्व संध्या पर आईटीबीपी के दस कमांडो को शीर्ष वीरता पुरस्कार से सम्मानित किया गया था।
उल्लेखनीय है कि हिमवीर कमांडो अत्याधुनिक हथियार रखते हैं। हाल ही काबुल पहुंचे भारतीय दल में फिलहाल पचास से अधिक कमांडो हैं। विदेश मंत्रालय ने अपने वक्तव्य में इस दल के काबुल पहुंचने और वहां अन्य कामों के अलावा मानवीय सहायता में जुटने की जानकारी दी है। बयान में बताया गया है कि काबुल पहुंचा भारतीय दल अफगान नागरिकों के साथ संपर्कों पर करीब से नजर रखने के साथ ही समन्वय का काम भी देखेगा।
तालिबान के विदेश विभाग ने भारत का दूतावास खुलने का स्वागत करते हुए आगे लिखा है कि इस्लामिक अमीरात अफगानिस्तान यह भरोसा देता है कि दूतावास के परिसरों को अंतरराष्ट्रीय राजनयिक चलन के हिसाब से ही सुरक्षा उपलब्ध कराई जाएगी। राजनयिक दल को उन क्षेत्रों का दौरा करने की जिम्मेदारी दी गई है जिन क्षेत्रों में भारत की सहायता से परियोजनाएं चल रही हैं।
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