लखनऊ के मेट्रो स्टेशन पर नाबालिग छात्रा से हुई छेड़छाड़ की घटना करने वाले अभियुक्त को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया. इसके साथ ही मेट्रो रेल ने एक बड़ा कदम उठाया है. अभियुक्त को आजीवन मेट्रो यात्रा के लिये प्रतिबंधित कर दिया गया है. अभियुक्त कभी भी मेट्रो में यात्रा नहीं कर सकेगा.
बता दें कि अभियुक्त ने मेट्रो स्टेशन के अन्दर लिफ्ट में नाबालिग छात्रा से छेड़छाड़ की थी मगर उसे यह अंदाजा नहीं था कि मेट्रो स्टेशन के अन्दर लिफ्ट से लेकर ट्रेन के अन्दर तक महिलाओं की सुरक्षा के कड़े इंतजाम किये गए हैं. मेट्रो स्टेशनों में लिफ्ट के अन्दर हॉटलाइन बटन लगे हुए हैं. उस बटन का प्रयोग करते ही स्टेशन कंट्रोलर और सुरक्षा में लगे हुए लोगों को उस लिफ्ट के बारे में सूचना मिल जाती है. अगर किसी महिला के साथ ऐसी कोई घटना करने की कोशिश की जा रही है तो वह महिला उस बटन का प्रयोग कर सकती है. इसी प्रकार ट्रेन के सभी कोच में दो सुरक्षा कैमरे लगाए गए है. इसके साथ ही टॉक-बैक बटन भी लगा हुआ है.
घटना के बाद तकनीक की मदद से अभियुक्त को पहचान लिया गया. सीसीटीवी फुटेज में देखा गया कि वह भागते हुए स्टेशन से बाहर निकल रहा था. उसके बाद उसका विवरण निकाला गया तो ज्ञात हुआ कि उसने मेट्रो कार्ड के माध्यम से यात्रा की थी. कार्ड की डिटेल निकालने पर उसका पूरा विवरण सामने आया गया. पुलिस ने अभियुक्त के फोन नंबर की लोकेशन ट्रेस की तो के फोन की लोकेशन के.डी सिंह बाबू स्टेडियम मेट्रो स्टेशन के पास मिल रही थी. पुलिस ने उसे ढूंढ कर गिरफ्तार कर लिया. आलमबाग थाने की पुलिस ने आरटीओ कार्यालय में काम करने वाले कुलदीप सिंह चौहान को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया. लखनऊ मेट्रो सेवा के प्रबंध निदेशक एमडी कुमार केशव के अनुसार, अभियुक्त कुलदीप सिंह चौहान का मेट्रो कार्ड निरस्त कर दिया गया है. इसके साथ कंट्रोल रूम और सिक्योरिटी रूम को अभियुक्त की फोटो उपलब्ध कराई गई है. जेल से रिहा होने के बद अगर अभियुक्त मेट्रो स्टेशन में यात्रा करने की कोशिश करता है तो उसे पकड़ लिया जाएगा. फेस डिटेक्शन तकनीक तुरंत यह बता देगी कि अभियुक्त का प्रवेश प्रतिबंधित है
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