कश्मीर घाटी की सबसे पुरानी और बड़ी जामिया मस्जिद में शुक्रवार की नमाज के बाद कुछ शरारती तत्वों ने राष्ट्रविरोधी नारेबाजी की थी। शनिवार को पुलिस ने इस मामले में 13 लोगों को गिरफ्तार किया है।
जामिया मस्जिद में शुक्रवार की नमाज थी। लगभग चौबीस हजार लोग नमाज में शामिल हुए थे। श्रीनगर के डाउन टाउन में नौहट्टा चौक में स्थित इस मस्जिद को मार्च माह में ही नमाज के लिए खोला गया है। पहले कोविड प्रोटोकाल के चलते नमाज नहीं हो रही थी।
नमाज पढ़ने के बाद शरारती तत्वों ने राष्ट्रविरोधी और भड़काऊ नारेबाजी शुरू कर दी। मस्जिद के बाहर सुरक्षाबलों पर पथराव भी हुआ। आतंकी जाकिर मूसा के समर्थन में नारे लगाए गए थे। कई नमाजियों ने इसकी मोबाइल में रिकार्डिंग भी की। इसी दौरान कुछ शरारती तत्वों ने मस्जिद के बाहर जुलूस निकालने का प्रयास किया था। सुरक्षाकर्मियों ने उन्हें रोका तो उन्होंने पथराव शुरू कर दिया। स्थिति बिगड़ते देख सुरक्षाबलों ने भी हल्का बल प्रयोग कर इन्हें भगा दिया था। पुलिस ने मामला दर्ज कर नारेबाजी करने वाले तत्वों की निशानदेही शुरू कर दी थी। पुलिस ने शनिवार को विभिन्न स्थानों पर छापेमारी की, जिससे नारेबाजी के दो मुख्य भड़काने वालों को भी गिरफ्तार किया गया। उनकी पहचान बशारत नबी भट पुत्र नबी भट निवासी नौहाटा और उमर मंजूर शेख पुत्र मंजूर शेख निवासी बहुद्दीन नौहाटा के रूप में की गई है। इस मामले में 11 और आरोपियों को बाद में गिरफ्तार किया गया। पुलिस द्वारा कई और संदिग्ध व्यक्तियों से भी पूछताछ की जा रही है।
वहीं, श्रीनगर पुलिस ने सभी नागरिकों को सूचित किया है कि शांति भंग करने के किसी भी प्रयास को बहुत गंभीरता से लिया जाएगा। इस तरह की अवैध गतिविधियों में शामिल होने वालों के खिलाफ कानून के प्रावधानों के तहत सख्त कार्रवाई की जाएगी। इसके अलावा देशविरोधी और आतंकवादी एजेंडे को आगे बढ़ाने के लिए मजहबी स्थलों का उपयोग करने का कोई भी प्रयास बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। पुलिस ने कहा कि माता-पिता को भी सलाह दी जाती है कि वे अपने बच्चों की संगति पर नजर रखें। इस तरह की गतिविधियों में शामिल होने से बच्चों के भविष्य की क्षति हो सकती है।
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