देश में चल रहे बिजली सुधार के कार्यक्रम के मार्ग में पंजाब की नवनिर्वाचित आम आदमी पार्टी की सरकार की मुफ्तखोरी की योजना आड़े आ रही है। पार्टी ने चुनाव से पहले लोगों को 300 यूनिट माफ करने का वादा किया था। लेकिन केंद्र ने भगवंत मान की अगुआई वाली आआपा सरकार को तीन माह में 85 हजार स्मार्ट प्री-पेड मीटर लगाने को कहा है। साथ ही, मीटर नहीं लगाने पर केंद्र ने बिजली सुधार निधि रोकने की चेतावनी दी है। दरअसल, पंजाब सरकार ने केंद्र को 10 मार्च को चिट्ठी लिखी थी, जिसके जवाब में केंद्र ने यह चेतावनी दी है।
देश में 25 करोड़ मीटर लगेंगे
केंद्र सरकार की तरफ से देश भर में प्री-पेड बिजली मीटर लगाए जा रहे हैं। इसका 15 प्रतिशत खर्च केंद्र सरकार उठा रही है। केंद्र ने 2023 तक 25 करोड़ मीटर लगाने का लक्ष्य रखा है। लेकिन समस्या यह है कि पंजाब में किसानों को बिजली मुफ्त दी जाती है और 300 यूनिट मुफ्त बिजली देने की घोषणा भी की है। ऐसे में प्री-पेड मीटर की योजना को कैसे अंजाम दिया जाएगा? मुख्यमंत्री मान शुक्रवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मिले थे और उनसे विशेष पैकेज की मांग की थी।
बन सकता है राजनीतिक मुद्दा
आम आदमी पार्टी लम्बे-चौड़े वादे करके सत्ता में आई है, जिनमें मुफ्त की योजनाएं ज्यादा हैं। इन वादों को पूरा करने के लिए पंजाब सरकार के पास धन की बेहद कमी है और भगवंत मान इसीलिए प्रधानमंत्री से मिले। अब केंद्र सरकार की साफगोई से मान सरकार को यह कहने का बहाना मिल जाएगा कि केंद्र सरकार उन्हें वादे पूरे करने नहीं दे रही। मान नाखून कटवा कर शहीद होने की अपनी पार्टी की परम्परा में नया अध्याय जोड़ सकते हैं।
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