हिजाब मामला अब स्कूल से निकलकर राजनीतिक गलियारे में पहुंच गया है। भड़काऊ भाषण के जरिये तो कुछ लोग इसे सांप्रदायिक रंग भी देने की कोशिश कर रहे हैं। कांग्रेस नेता प्रियंका वाड्रा ने भी चुनावी दृष्टि से देखकर इसे भुनाने की कोशिश की, लेकिन वह ट्रोल हो गईं। हिजाब प्रकरण में वह भी शामिल हो गईं। महिला के अधिकारों का सभी समर्थन करते हैं। करना भी चाहिए, क्योंकि भारत माता की संतानों को इसके संस्कार पीढ़ी दर पीढ़ी मिलते आ रहे हैं। लेकिन हिजाब का प्रकरण कोर्ट में लंबित है और यह सिर्फ स्कूल की यूनिफार्म से जुड़ा है।
प्रियंका वाड्रा ने आज एक ट्वीट किया। उसमें उन्होंने लिखा कि बिकिनी पहनें, घूंघट करें, जींस पहनें या फिर हिजाब, यह महिलाओं का अधिकार है कि वह क्या पहनें। यह अधिकार भारत के संविधान से मिला है। संविधान कुछ भी पहनने की गारंटी देता है। महिलाओं को प्रताड़ित करना बंद करें। उनके इस ट्वीट के बाद से ही सोशल मीडिया पर बिकिनी ट्रेंड करने लगा और प्रियंका वाड्रा ट्रोल होने लगीं। लोगों ने उनसे सवाल कि किया कि बिकिनी और घूंघट में स्कूल कौन जाता है ? इसका जवाब प्रियंका के पास नहीं था। भाजपा नेता कपिल मिश्रा और तेजिंदर पाल सिंह बग्गा भी हिजाब प्रकरण पर मुखर हैं।
स्कूल में हिजाब क्यों, जब एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में पत्रकार ने यह सवाल प्रियंका वाड्रा से पूछा तो वह पत्रकार से ही भिड़ गईं। इस पर भाजपा नेता कपिल मिश्रा ने ट्वीट किया कि असली सवाल से डर लगता है नकली गांधियों को।
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