यूक्रेन—रूस सीमा पर तनाव बढ़ता जा रहा है। इस बीच खबर आई है कि नाटो ने यूक्रेन की मदद के लिए अपने लड़ाकू विमान और युद्धपोत तैनात कर दिए हैं। पूर्वी यूरोप में सैनिकों और सैन्य साजोसामान की तैनाती बढ़ गई है। नाटो के अलावा उसके अनेक सहयोगी देशों ने पूर्वी यूरोप में लड़ाकू विमान और युद्धपोत उतार दिए हैं। उधर रूस के तेवर भी तीखे होने के समाचार मिले हैं। ऐसे में बीचबचाव के तमाम प्रयास भी जारी हैं।
इतना ही नहीं, यूक्रेन में चल रहे तनाव से अमेरिका और रूस आमने-सामने आ गए हैं। अमेरिका ने साफ चेतावनी दे दी है कि अगर रूस ने यूक्रेन पर हमला किया तो उसे जबरदस्त कीमत चुकानी होगी। इसके जवाब में रूस का कहना है कि यदि नाटो ने यूक्रेन से हथियार नहीं हटाए तो कड़ा उत्तर दिया जाएगा। इस बीच यूक्रेन की सीमा से सिर्फ 20 किलोमीटर के फासले पर रूसी सैनिकों का जमावड़ा बढ़ता जा रहा है। काला सागर में रूस की नौसेना की बढ़ती ताकत से दुनिया में एक भय दिखाई दे रहा है।
संभवत: इसी को देखते हुए अमेरिका की अगुआई में नाटो ने यूक्रेन की मदद के लिए पूर्वी यूरोप में एफ-35, एफ-16 लड़ाकू विमान, सैनिक तथा कई युद्धपोत तैनात किए हैं।
डेनमार्क बाल्टिक सागर में एक युद्धपोत भेज रहा है। लिथुआनिया चार एफ-16 लड़ाकू विमान तैनात कर सकता है। स्पेन नौसेना की जवाबी कार्रवाई के लिए युद्धपोत भेज रहा है। बुल्गारिया लड़ाकू विमानों को तैनात करने की तैयारी कर रहा है। फ्रांस ने रोमानिया में सेना भेजने का प्रस्ताव रखा है। नीदरलैंड बुल्गारिया में दो एफ-35 लड़ाकू विमान भेज रहा है। नाटो की मदद के लिए उसने अपनी थल सेना और युद्धपोतों को भी होशियार किया हुआ है।
उधर नाटो ने बयान जारी किया जिसमें उसने कहा है कि उसके साथी देशों की सेनाओं को सतर्क कर दिया गया है। नाटो ने चेतावनी जारी की है कि अगर रूस ने यूक्रेन की सीमा पर सैन्य जमावड़ा जारी रखा तो उसकी और मजबूत घेराबंदी की जाएगी। नाटो के अनुसार, पिछले दिनों उसके सदस्य देशों ने पूर्वी यूरोप में फौजी तैनाती को लेकर अपने इरादे साफ कर दिए हैं। कई देशों ने तो नाटो के जवाबी कार्रवाई बल को मजबूत करने के लिए अपने युद्धपोत, लड़ाकू विमान और थल सेना को तैयार रखा हुआ है यानी जरूरत पड़ी तो फौरन इन सैनिकों और हथियारों को पूर्वी यूरोप में तैनात कर दिया जाएगा।
नाटो के सदस्य देशों में डेनमार्क बाल्टिक सागर में एक युद्धपोत भेज रहा है। लिथुआनिया चार एफ-16 लड़ाकू विमान तैनात कर सकता है। स्पेन नौसेना की जवाबी कार्रवाई के लिए युद्धपोत भेज रहा है। बुल्गारिया लड़ाकू विमानों को तैनात करने की तैयारी कर रहा है। फ्रांस ने रोमानिया में सेना भेजने का प्रस्ताव रखा है। नीदरलैंड बुल्गारिया में दो एफ-35 लड़ाकू विमान भेज रहा है। नाटो की मदद के लिए उसने अपनी थल सेना और युद्धपोतों को भी होशियार किया हुआ है। अमेरिका भी यूक्रेन में फौज को और बढ़ाने की सोच है।
इस बीच एक समाचार यह भी मिला है कि अमेरिका ने कीव के अपने दूतावास को खाली करा लिया है। युद्ध होने की सूरत में उसके नागरिक न फंसें इसके लिए पहले से इंतजाम किया जा रहा है। रूस तो पहले से ही यूक्रेन की राजधानी कीव स्थित अपने दूतावास को खाली करा चुका है और अपने अधिकारियों को मास्को वापस बुला चुका है।
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