सिंध सूबे से हिन्दुओं के मानसिक, शारीरिक और सामाजिक शोषण के समाचार लगातार प्राप्त होते रहे हैं। सिंध के हिन्दुओं ने अब कड़ा प्रतिकार करने का मन बनाया है
वेब डेस्क
पाकिस्तान, विशेषकर सिंध सूबे में आएदिन हिंदू समुदाय को दमन का शिकार बनाया जा रहा है। हिन्दू बस्तियां जलाई जा रही हैं, हिन्दू लड़कियों को जबरन कन्वर्ट करके उनसे निकाह किया जा रहा है। इसके खिलाफ सिंध के हिन्दू अब कड़ा विरोध दर्ज करा रहा हैं। पाकिस्तान की तमाम सरकारों ने हिन्दुओं की पीड़ा की तरफ से आंखें मूंद रखी हैं जो अब वहां के हिन्दुओं को बर्दाश्त नहीं है। वे एक लंबे समय हिन्दुओं की सुरक्षा के लिए एक कानून बनाने की मांग करते आ रहे हैं। लेकिन आज तक इस पर कोई ध्यान नहीं दिया गया है। अब आखिरकार हिंदुओं के साथ हो रहे इस अन्याय के विरुद्ध सिंध में हिंदू संगठनों ने एक अगस्त को सिंध विधानसभा के सामने धरना देने का फैसला किया है।
उल्लेखनीय है कि सिंध सूबे में हिंदुओं की सुरक्षा पर कानून बनाने के लिए सरकार को 60 दिनों का समय दिया गया था। लेकिन सरकार ने अभी तक इस मामले में कोई कार्रवाई नहीं की है। पाकिस्तान द्रविड़ इत्तेहाद (पीडीआई) संगठन ने मांग की है कि सरकार द्वारा हिंदू समुदाय को सुरक्षा देने के बारे में गंभीरता से सोचे। संगठन के अध्यक्ष फकीरा शिवा तथा अन्य संगठनों के नेताओं ने 5 जुलाई को मीरपुर खास मार्ग पर जबरदस्त प्रदर्शन किया। इस मौके पर विरोध सभा में हिंदू युवतियों के जबरन अपहरण, कन्वर्जन तथा हिन्दू प्रताड़ना से जुड़े अन्य मुद्दों के विरुद्ध आगामी 1 अगस्त को सिंध विधानसभा के सामने विरोध प्रदर्शन की चेतावनी दी गई।
तय किया गया है कि जब तक हिंदू समुदाय की हिफाजत का कानून नहीं बनता, तब तक ऐसे विरोध प्रदर्शन होते रहेंगे। इस प्रदर्शन में अनेक हिंदू संगठनों के लोगों ने भाग लिया था।
पाकिस्तान के अंग्रेजी दैनिक द डॉन में एक लेख के अनुसार, गत कुछ वर्षों में, पाकिस्तान में पांथिक अल्पसंख्यकों के अधिकारों पर लागू कानून साफतौर पर भेदभावपूर्ण बन चुके हैं।
पाकिस्तान के एक समाजकर्मी जहांगीर कर कहना है कि पांथिक अल्पसंख्यक समूहों की महिलाओं के साथ बहुत ज्यादा भेदभाव बरता जाता है। वे बलात्कार, अपहरण, जबरन निकाह और कन्वर्जन का शिकार होती हैं।
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